Warning: sprintf(): Too few arguments in /home/cgwall/public_html/wp-content/themes/newsmatic/inc/breadcrumb-trail/breadcrumbs.php on line 252

Warning: sprintf(): Too few arguments in /home/cgwall/public_html/wp-content/themes/newsmatic/inc/breadcrumb-trail/breadcrumbs.php on line 252

Warning: sprintf(): Too few arguments in /home/cgwall/public_html/wp-content/themes/newsmatic/inc/breadcrumb-trail/breadcrumbs.php on line 252
Google search engine

अब Revaluation मे 5% तक नंबर बढ़े,तो हो जाएंगे पास

ekad_meet_index_collegeरायपुर।उच्च शिक्षा मंत्री प्रेमप्रकाश पाण्डेय ने मंगलवार को मंत्रालय में विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और उच्च शिक्षा विभाग के अधिकारियों की बैठक ली।बैठक में उन्होंने निजी कॉलेजों में विद्यार्थियों के शैक्षणिक शुल्क, प्राध्यापकों और परीक्षा परिणामों के बारे में अध्ययन के लिए कुलपतियों की तीन सदस्यी समिति गठित करने के निर्देश दिए।यह समिति अध्ययन के बाद तीन माह के भीतर अपना प्रस्ताव उच्च शिक्षा विभाग को प्रस्तुत करेगी।उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि किसी भी निजी कॉलेज खोलने के लिए पांच एकड़ का कैम्पस होना चाहिए।उन्होंने कुलपतियों से कहा कि पिछले तीन वर्ष में आपके क्षेत्र में निजी कॉलेज खोले गए है उनके पास पांच एकड़ से कम जमीन का केम्पस है तो उसे उसे विभाग के संज्ञान में लाया जाए।
डाउनलोड करें CGWALL News App और रहें हर खबर से अपडेट
https://play.google.com/store/apps/details?id=com.cgwall

Join WhatsApp Group Join Now

                                               उन्होंने कहा कि प्रदेश के सभी विश्वविद्यालयों के कुलपति, कुलसचिव, प्राध्यापक सहित सभी स्टाफ एवं विद्यार्थियों के साथ माह में दो बार अपने अधीनस्थ कॉलेजों में राष्ट्रीय स्वच्छता अभियान में भागीदारी निभाएं और उसकी रिपोर्ट विभाग को भेंजे।

                                                     पाण्डेय ने कहा कि विद्यार्थियों को पुर्नमूल्यांकन में अगर अनुत्तीण छात्र के पांच प्रतिशत तक अंक की बढ़ौतरी होती तो उत्तीर्ण माना जाएगा परन्तु यह नियम मेरिट सुधार में लागू नहीं होगा।प्रेम प्रकाश पाण्डेय ने कहा कि विश्वविद्यालय का काम सिर्फ डिग्री बाटना नहीं होना चाहिए बल्कि छात्र-छात्राओं का कौशल उन्नयन भी उनका लक्ष्य होना चाहिए ताकि पढ़ाई पूर्ण करने के बाद विद्यार्थी को रोजगार के नये अवसर मिल सकें। उन्होंने रोजगार मूलक और समाज हितैशी पाठयक्रम को प्राथमिकता देना चाहिए।

                                                      उच्च शिक्षा मंत्री का कहना था कि प्रत्येक विश्वविद्यालय अपनी नियमित अकादमिक गतिविधियों के साथ-साथ शिक्ष के क्षेत्र में किसी न किसी एक खास पाठयक्रम में भी अपनी पहचान बनाए, विश्वविद्यालयों के साथ-साथ छत्तीसगढ़ को भी शिक्षा के क्षेत्र में राष्ट्रीय स्तर पर विशेष रूप से पहचान मिले।उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालये द्वारा ऐसे पाठयक्रमों को प्राथमिकता दी जानी चाहिए जो रोजगारमूलक होने के साथ ही समाज के हित में भी हो। श्री पाण्डेय की अध्यक्षता में आयेाजित इस बैठक में उन्हें प्रदेश के विश्वविद्यालयों की काम-काज की जानकारी दी गयी।

close
Share to...