रायपुर । छत्तीसगढ़ में पहला सोलर पैनल उद्योग शुरू हो गया है। जिसमें उत्पादन शुरू होने में सिर्फ आठ महीने का समय लगा। एक स्थानीय उद्योगपति द्वारा रायपुर जिले के ग्राम डिघारी (विकासखंड-आरंग) में छत्तीसगढ़ का पहल सोलर पैनल यूनिट लगाया गया है। इस उद्योग में लगभग दो सौ स्थानीय लोगों को रोजगार मिला है।
मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह से गुरूवार को यहां उनके निवास कार्यालय में इस उद्योग के संचालक द्वय कंवलजीत सिंह खुराना और शक्ति कुमार दुबे ने सौजन्य मुलाकात की। उन्होंने डॉ. रमन सिंह को बताया कि प्रदेश सरकार के सहयोग से और छत्तीसगढ़ अक्षय ऊर्जा विकास अभिकरण (क्रेडा) के तकनीकी मार्गदर्शन में इस उद्योग की स्थापना की गई है। उन्होंने यह भी बताया कि छत्तीसगढ़ सहित झारखण्ड, बिहार और उत्तर प्रदेश से सौर पैनलों के लिए उनकी फैक्ट्री में लगातार डिमांड आ रही है। ग्राम डिघारी में लगभग दस करोड़ रुपए की लागत से सवा चार एकड़ भूमि पर यह इकाई स्थापित की गयी है। इसकी उत्पादन क्षमता के बारे में उन्होंने बताया कि यहां 30 मेगावॉट सौर बिजली पैदा करने के लिए लगने वाले सोलर पेनल प्रति वर्ष तैयार किये जाएंगे। इसकी क्षमता में विस्तार करने की योजना है।
प्रदेश के औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (आई.टी.आई.) के प्रशिक्षित 40 युवाओं के साथ-साथ कुछ इंजीनियरों और अधिकांश स्थानीय लोगों को भी उनकी यूनिट में रोजगार मिला है। आई.टी.आई.पास इन युवाओं को फैक्ट्री शुरू होने से पहले ही बेंगलुरु और अन्य शहरों में भेजकर प्रशिक्षण दिलाया गया। इस इकाई की छत पर एक सौ किलो वॉट बिजली उत्पादन के लिए सोलर पैनल भी लगाये गये हैं। इस निर्माण इकाई में तीन पालियों में काम हो रहा है। एक पाली में लगभग 60 लोग काम करते हैं। श्री खुराना ने मुख्यमंत्री को बताया कि राज्य शासन की नीति के तहत इकाई की स्थापना के लिए सभी जरुरी स्वीकृतियां त्वरित रुप से प्राप्त हुईं, जिससे इकाई में उत्पादन प्रारंभ हो सका। भूमि पर स्टाम्प डयूटी पर छूट, वेट में पूरी तरह छूट, ऋण अनुदान और जल्द बिजली कनेक्शन जैसी अनेक सुविधाओं का उन्हें लाभ मिला। छत्तीसगढ़ अक्षय ऊर्जा विकास अभिकरण केडा के मुख्य कार्यपालन अधिकारी एस.के. शुक्ल भी इस अवसर पर उपस्थित थे।
छत्तीसगढ में बनने लगा सोलर पैनल
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