बिलासपुर— जिला प्रशासन का भरसक प्रयास है कि लोगों को लाकडाउन का सामना नहीं करना पड़े। बावजूद इसके जनता आदतों से बाज नहीं आ रही है। यद्यपि बिलासपुर में धारा 144 सक्रिय है। और शाम होते शहर में सन्नाटा भी पसर जाता है। लेकिन दिन भर की धमाचौकड़ी देखने के बाद ऐसा कहीं नजर आ रहा है कि कोरोना संक्रमण दौर है। पुलिस की सख्ती के बावजूद लोग मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग को लेकर बहुत गंभीर नजर नहीं आ रहे है। नतीजन जिला और खासकर शहर में कोरोना मरीजों की संख्या दिन ब दिन बढ़ते ही जा रहे हैं। यद्यपि आंकड़ों को देखकर आम जनता दहशत है।
जिला प्रशासन के लगातार प्रयास के बाद भी लोग आदतों से बाज नहीं आ रहे है। यद्यपि शाम होते ही शहर में सात बजे के बाद सन्नाटा पसर जाता है। लेकिन दिन भर की भीड को देखने के बाद कहीं से लोगों में अहसास नहीं होते दिखाई दे रहा है कि कोरोना काल है। पुलिस सख्ती के बाद भी लोग आदतों से बाज नहीं आ रहे है। जिसके चलते कोरोना संक्रमण का ग्राफ दिनों दिन बढ़ता ही जा रहा है।
जानकारी के अनुसार शहर में बढ़ रहे लगातार संक्रमण के चलते अब मुख्य अस्पतालों में बिस्तर की कमी हो गयी है। लेकिन कोरोना मरीजों के आने का सिलसिला थम नहीं रहा है। शहर के मसानगंज, गो़डपारा जूनीलाइन समेत खपरगंज क्षेत्र से रोज मरीजों की संख्या बढ़ रही है। यहां तक की एक पार्षद का पूरा परिवार संक्रमित हो गया है।
गोंडपारा खपरगंज के लोगों की मांग है कि क्षेत्र को जल्द से जल्द कंटन्टेमेन्ट घोषित किया जाए ।अन्यथा क्षेत्र में कोरोना महामारी का विकराल रूप देखने को मिलेगा। यद्यपि लोग वैक्सीन लगवा रहे है। लेकिन देखने में आ रहा है कि लोग थोड़ा भी शक होने पर टेस्ट करवाने के बाद खुद को होमआइसोलेशन कर रहे है।
लाकडाउन से होगा नुकसान
सदर, गोल बाजार समेत व्यापार विहार के कुछ व्यापारियों ने बताया कि यदि लाकडाउन लगाया जाता है तो व्यवस्था पूरी तरह बैठ जाएगी। लोगों के पास जीने खाने का कोई साधन नहीं बचेगा। लेकिन स्थिति देखने के बाद ऐसा लगता है कि लोग बिना लाकडाउन लगवाए घर में चुपचाप रहना नहीं चाहते हैं। जबकि उन्हें मालूम होना चाहिए कि व्यापार, बाजार पूरी तरह से चौपट हो चुका है। यदि जिला प्रशासन चाहे तो आंशिक या स्मार्ट लाकडाउन पर विचार कर सकता है। लेकिन जनता को नियंत्रित करने के लिए कुछ सख्त उठाना ही होगा।
व्यापारी ने की पुलिस कार्रवाई की मांग
सदर बाजार के एक प्रतिष्ठित व्यवसायी ने बताया कि जनता क्यों नहीं समझने को तैयार है कि उसे अनावश्यक घर से नहीं निकलना चाहिए। कोरोना का चैन टूट सकता है। यदि जनता बाजार में अनावश्यक भीड़ ना बढाए। ऐसे में लगता है कि लाकडाउन से बचते हुए धारा 144 के तहत पुलिस को सख्त कदम उठाने का जिाल प्रशासन सख्त आदेश दे। इसके बाद आमजन ही नहीं बल्कि व्यापारी और दिहाड़ी सभी लोग नियंत्रित हो जाएंगे।
शाम को सन्नाटा..दिनभर धमा चौकड़ी
गोल बाजार के एक व्यापारी ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि यह ठीक है कि शाम को कुछ लोग स्वयम् और कुछ लोग पुलिस सख्ती से बचने के लिेए शटर गिरा रहे है। लेकिन दिन भर लोग उतने ही लापरवाह नजर आते हैं। यदि पुलिस की सक्रियता बढ़ा दी जाए तो दिन भर अनावश्यक धमा चौकड़ी बन्द हो जाएगी। कुछ हद तक कोरोना नियंत्रण में आसानी होगी।