कांकेर-कोण्डागांव के लिए बनेगी एक अरब रूपए की कार्य योजना,CM डॉ रमन ने समीक्षा बैठक में की घोषणा

Shri Mi
2 Min Read

कांकेर।मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने प्रदेश के नक्सल प्रभावित कांकेर और कोण्डागांव जिलों में जिला खनिज न्यास निधि (डीएमएफ) की राशि से 100 करोड़ रूपए मंजूर करने की घोषणा की है। उन्होंने अधिकारियों को दोनों जिलों में इसके लिए पचास – पचास करोड़ रूपए की कार्य योजना बनाने के निर्देश दिए हैं। यह कार्ययोजना वर्ष 2018 से 2022 तक चार वर्ष के लिए होगी। डॉ. सिंह ने कहा कि यह राशि स्कूल भवन, सामुदायिक भवन, सड़क और अस्पताल जैसी आधारभूत संरचनाओं के निर्माण पर खर्च की जाएगी। मुख्यमंत्री ने लोक सुराज अभियान के तहत जिला मुख्यालय कांकेर में आयोजित दोनों जिलों की संयुक्त समीक्षा बैठक में इस बारे में अधिकारियों को दिशा-निर्देश दिए।

Join Our WhatsApp Group Join Now

उन्होंने कहा कि सामाजिक सहायता कार्यक्रम के तहत पेंशन योजनाओं में भुगतान में विलंब नहीं होना चाहिए। डॉ. सिंह ने गर्मी के मौसम में गांवों और शहरों में स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था बनाए रखने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि दोनों जिलों में स्वीकृत जिन नल-जल योजनाओं का काम अभी तक शुरू नहीं हुआ है, उन्हें तत्काल शुरू किया जाए।

विलंब के लिए जिम्मेदारी तय की जाए और कार्रवाई की जाए। डॉ. सिंह ने बैठक में प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के तहत रसोई गैस कनेक्शन वितरण, प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान स्वीकृति, सूखा प्रभावित किसानों को मुआवजा वितरण स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत स्मार्ट कार्ड वितरण, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना सहित विभिन्न योजनाओं की प्रगति की जानकारी ली।

इस मौके पर उन्होंने लोक सुराज अभियान के तहत दोनों जिलों में प्राप्त आवेदनों और उनके निराकरण की भी समीक्षा की। बैठक में लोक सभा सांसद विक्रम उसेंडी, गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव बी.व्ही.आर. सुब्रमण्यम, लोक निर्माण विभाग के सचिव सुबोध कुमार सिंह, पुलिस महानिदेशक ए.एन. उपाध्याय सहित विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।कलेक्टर कांकेर टी.एस. सोनवानी और कलेक्टर कोण्डागांव  नीलकण्ठ टेकाम ने अपने-अपने जिलों की प्रगति की जानकारी दी। बस्तर संभाग के कमिश्नर दिलीप वासनीकर और संभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी बैठक में मौजूद थे।

By Shri Mi
Follow:
पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
close