बिलासपुर—खरीफ में दलहन-तिलहन फसल को बढ़ावा दिया जाए। नगदी फसल कम पानी में भी हो जाता है। उद्यानिकी फसलों के बढावा दिये जाने से किसानों को सीधा लाभ होगा। बिलासपुर संभाग अमराई, शाक-भाजी एवं फलोद्यान में समृद्ध रहा है। इस बात को हमें गंभीरता के साथ लेना होगा। संभागायुक्त सोनमणि बोरा ने आज संभागीय जल उपयोगिता समिति की बैठक में उक्त बातें कही।
संभागायुक्त बोरा ने आज संभाग के सभी जिला प्रमुख और विधायकों के साथ मंथन सभागार में बैठक के दौरान कहा कि दलहन-तिलहन किसानों के लिए लाभदायी है। इसकों बढ़ावा दिए जाने की जरूरत है। बिलासपुर संभाग अमराई, शाक-भाजी एवं फलोद्यान में समृद्ध रहा है। यह क्षेत्र नदी-नालों से भी समृद्ध है। नदियों के किनारे शाक-सब्जी उगाए जाते हैं।
बोरा ने कहा कि सभी कलेक्टर इस दिशा में अपने-अपने क्षेत्र में बेहतर पहल की है। उन्होंने जीवन्त नदी-नालों में अधिक से अधिक कच्चा बंधान के लिए भी निर्देश दिये। ताकि जल संरक्षण के साथ ही पशुओं के निस्तार सुविधा मिलेगी। संभागायुक्त ने जलक्रांति योजना की समीक्षा करते हुए कहा कि इसे प्राथमिकता लेने की जरूरत है। इसके प्रति लोगों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाना है। जल संरक्षण, संवर्धन एवं प्रबंधन महत्वपूर्ण कार्य है।
इस दौरान संभागायुक्त ने बीज उत्पादन के संबंध में प्रदेश के मुख्यमंत्री के घोषणा को अवगत कराते हुए निर्देशित किया कि सभी जिलों में कलेक्टर से चर्चाकर एक संयुक्त टीम बनाएं और सर्वें कराकर आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि संबंधित जिले से ही किसानों को बीज आपूर्ति होने से आत्मनिर्भरता बढ़ेगी।
बैठक में विधायक श्री मोतीलाल देवांगन, विधायक राजू सिंह क्षत्री, विधायक रामदयाल उइके, विधायक केराबाई मनहर एवं अन्य विधायक प्रतिनिधियों ने भी अपने सुझाव दिये। बैठक में पवन देव समेत संभाग के सभी कलेक्टर मौजूद थे।