बिलासपुर— तीसरी बार भी सामान्य सभा बैठक जिला पंचायत सदस्यों ने बहिष्कार किया। अपने एक मात्र समर्थक के साथ अध्यक्ष दीपक साहू सदस्यों का इंतजार करते रहे। लेकिन कांग्रेस तो दूर भाजपा के भी सदस्य बैठक में नहीं पहुंचे। बैठक नहीं होने से विकास के कई मुद्दों पर चर्चा नहीं हो सकी।
एक नहीं…दो नहीं..तीसरी बार भी जिला पंचायत सामान्य सभा की बैठक गुटबाजी के परवान चढ़ गयी। अध्यक्ष दीपक साहू घंटो पहले पहुंचकर सदस्यों का इंतजार करते रहे। मात्र उनके एक साथी पृथ्वीपाल सिंह के अलावा कोई दूसरा सदस्य बैठक हाल में नहीं दिखाई दिया। वहीं कांग्रेस तो दूर भाजपा का एक भी सदस्य बैठक में नहीं पहुंचा। जबकि एक सप्ताह पहले उन्हें लिखित में बैठक की सूचना भेजी गयी थी। लेकिन सभी सदस्य या तो घूमते नज़र आए। या फिर हाटल में गप्प मारते दिन काट दिये।
कांग्रेस सदस्य रमेश कौशिक,अजय पाण्डेय समेत विधायक प्रतिनिधि ज्ञानेन्द्र उपाध्याय ने बताया कि भाजपा नेताओं में अहम् ने घर लिया है। अध्यक्ष से खुद उनके ही सदस्य नाराज हैं। अध्यक्ष को गांव गरीब और किसानों की चिंता नहीं हैं। विकास कार्य जहां पहले थे वहीं आज भी है। हर बार जब बैठक बेनतीजा ही खत्म होना है तो वहां जाकर अपना समय क्यों बरबाद करें।
जिला पंचायत के एक पुराने दिग्गज नेता ने बताया कि दीपक साहू तानाशाही पर उतर आए हैं। भाजपा सदस्यों की ही सुनते हैं। उनका व्यवहार कुछ ऐसा रहता है कि जो उन्होंने निर्णय ले लिया है वही सर्वोपरि है। ऐसा में जब उन्हें ही सब कुछ निर्णय लेना है तो सदस्य बैठक में टाइम पास करने तो नहीं जाएंगे।
बहरहाल लगातार तीन सामान्य सभा की बैठक का सदस्यों ने बहिष्कार किया है। इसका दोष यदि किसी के सिर पर जाता है तो वह है जिला पंचायत अध्यक्ष दीपक साहू। ऐसी स्थिति में अब समस्त विकास कार्यों और अन्य गतिविधियों को आगे बढ़ाने में जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी की भूमिका सशक्त हो गयी है। ऐसी परिस्थितियों में निर्णय लेने का उनके पास सर्वाधिकारहै। देखने वाली बात होगी कि पंचायत कार्यों को सुचारू रूप से चलाने के लिए क्या कदम उठाते हैं।