मुख्यमंत्री के गृह जिले में जोगी की चौपाल

BHASKAR MISHRA
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AMIT JOGI--BITE--EXCLUSIVEबिलासपुर—छत्तीसगढ़ के डेढ़ करोड़ ग्रामवासियों की 7 प्रमुख मांगों के साथ अमित जोगी ने पंडरिया में ग्राम आवाज़ का चौपाल लगाया। कबीरधाम में लगा। मरवाही विधायक अमित जोगी की उपस्थिति में पंडरिया विधानसभा के ग्राम पंचायत करपी में 23 ग्रामों की महापंचायत बैठी ।समर्थन मूल्य, धान खरीदी, मनरेगा और अन्य कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा हुई। चर्चा के बाद, जनसमूह ने सर्वसम्मिति से 7 मांगों का समर्थन किया। छत्त्तीसगढ़ के फैसले, छत्तीसगढ़ में होने” की आठवीं मांग का प्रस्ताव भी पारित किया गया।

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                                       अमित जोगी ने कहा कि अजीत जोगी के समय छत्तीसगढ़ के फैसले छत्तीसगढ़  में होते थे। भाजपा की केंद्र सरकार ने जब छत्तीसगढ़ के किसानों का धान खरीदने से मना कर दिया तो जोगी जी ने नए बने राज्य के सिमित संसाधनों से प्रदेश के किसानों के धान का एक एक दाना सबसे उचित मूल्य में ख़रीदा। केवल चार हज़ार करोड़ के बजट में पूर्व मुख्यमंत्री जोगी ने कमाल कर दिखाया था । आज 70 हज़ार करोड़ का बजट  है। केंद्र में भाजपा सरकार  होने के बाद भी किसानों को राहत नहीं मिली है।

                     राज्य की भाजपा सरकार का छत्तीसगढ़ के लिए कोई  विज़न नहीं है। दिल्ली पर निर्भरता से राज्य की व्यवस्था ही चरमरा गयी है। दिल्ली में मेक इन इंडिया…तो रमन सरकार ने मेक इन छत्तीसगढ़ कर दिया। किसान, व्यापारी और युवाओं के लिए कोई छत्तीसगढ़ केंद्रित निति ही नहीं है। अमित जोगी ने कहा कि 13 वर्षों में सरकार अपने संसाधनों तक को नहीं बढ़ा सकी।

                     शक्कर कारखाने के लिए ली गयी किसानों से जमीन के बदले मुआवज़ा देने के बजाय सरकार ने किसानों को जमीन दी लेकिन उस पर भी पूरा अधिकार नहीं दिया। जोगी ने कहा कि रायपुर में विकास की बात करने वाले मुख्यमंत्री को अपने गृह जिले आकर देखना चाहिए कि बुनियादी सुविधाओं का पूरे क्षेत्र में आभाव है।  धर्मजीत सिंह पूर्व विधानसभा उपाध्यक्ष ने कहा कि छत्तीसगढ़ बनने के तीन वर्षों में पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने छत्तीसगढ़ में विकास की नींव रखी थी उसे भाजपा सरकार ने 13 सालों में खोखला कर दिया।

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