पढ़ें..राष्ट्रपति ने विजिटर बुक में क्या लिखा..कैसा रहा छत्तीसगढ़ भवन का अनुभव..भवन कर्मचारियों ने क्या कहा

BHASKAR MISHRA
3 Min Read

बिलासपुर—- भारत के राष्ट्रपति का दिल छत्तीसगढ़ भवन स्टाफ ने जीत लिया है। खुद राष्ट्रपति को विजिटर बुक में लिखा कि छत्तीसगढ़ भवन में ठहरने का अनुभव सुखद रहा। अपने संक्षिप्त टीप में राष्ट्रपति ने छत्तीसगढ़ सरकार के सेवाभाव की भी जमकर तारीफ की है।

Join Our WhatsApp Group Join Now

               जानकारी हो कि राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द केन्द्रीय विश्वविद्यालय दीक्षान्त समारोह में शिरकत करने बिलासपुर पहुंचे। कड़ी सुरक्षा के बीच एक फरवरी रविवार की दोपहर सेना का हेलीकाफ्टर राष्ट्रपति को लेकर बिलासपुर पहुंचा। पंडित सुन्दरलाल शर्मा विश्वविद्यालय लैण्ड करने के बाद राष्ट्रपति सीधे छत्तीसगढ़ भवन पहुंचे। पहले राष्ट्रपति ने गणमान्य राजनेताओं के अलावा अपने मित्र पूर्व सांसद गोविन्द मिरी से मुलाकात की। इसके अलावा उन्होने हायटी पर हाईकोर्ट के न्यायाधीशों से भी बातचीत की। इस दौरान छत्तीसगढ़ राज्य की राज्यपाल भी राष्ट्रपति का स्वागत किया।

                      दूसरे दिन फोटोसेशन के बाद राष्ट्रपति दीक्षांत समारोह के लिए छत्तीसगढ़ भवन से साढ़े दस बजे के बाद दीक्षांत समारोह स्थल के लिए रवाना हुए। रवाना होने से पहले राष्ट्रपति ने विजीटर बुक में स्टाफ और छत्तीसगढ़ शासन की जमकर तारीफ की है।

                                 अपने शुभकामना संदेश में राष्ट्रपति ने पहले तो तारीख लिखा है। इसके बाद उन्होने अपना नाम और उसके नीचे पद का उल्लेख किया है। तीसरे कालम में राष्ट्रपति ने शुभकामना संदेश अक्षरसः इस तरह लिखा गया है।

                                छत्तीसगढ़ भवन,बिलासपुर में ठहरने का अनुभव सुखद रहा। छत्तीसगढ़ राज्य सरकार और इस भवन से जुड़े सभी लोगों के सेवाभाव और सत्कार की मैं सराहना करता हूं।

                                                                                   राम नाथ कोविन्द 

            छत्तीसगढ़ के खानासामा प्रमुख दशरू यादव समेत राजेन्द्र यादव,मनोज समेत सभी लोगों ने राष्ट्रपति के उदारता को लेकर जमकर तारीफ की। दशरू और राजेन्द्र ने बताया कि हमें दुख है कि मौका मिलने के बाद भी राष्ट्रपति के साथ फोटो नहीं खीचा पाए। अपने अनुभवों को लेकर दशरू यादव और राजेन्द्र यादव ने कहा कि राष्ट्रपति का व्यवहार बहुत सरत और सौम्य था। उन्होने पीठ भी थपथापई। इस अनुभव को हम कभी नहीं भूल सकेंगे। इसके अलावा हमें नया अनुभव मिला है। उनके स्टाफ के साथ संवाद करने के साथ कुछ सीखने को मिला है।

close