रायपुर।छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डॉ रमन सिंह ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को पत्र लिखा है।अपने पत्र में उन्होंने भोजन, राशन और स्वास्थ्य सुविधा आदि की उचित व्यवस्था करने का आग्रह किया है। साथ ही कुछ सुझाव भी दिए हैं। जिसमें डॉ रमन ने लिखा कि सामाजिक संगठन,धार्मिक समूहों, राजनीतिक दल के कार्यकर्ताओं का बड़ा योगदान छत्तीसगढ़ में लाक डाउन के दौरान रहा है। नगरी प्रशासन ने उन्हें इस कार्य के से अलग रखे जाने का आदेश जारी किया है।उचित होगा ऐसे संगठन को सोशल डिस्टेंसिंग के साथ कार्य करने की अनुमति मिले। हजारों लोग गुरुद्वारे में लंगर में भोजन कर रहे हैं।अन्य संगठन भी अपने सामाजिक भवन में सेवा कार्य में लगे हैं।सीजीवालडॉटकॉम के व्हाट्सएप (NEWS) ग्रुप से जुडने के लिए यहाँ क्लिक कीजिये
एक ही जिले राजनांदगांव में 10 से 15 हजार लोगों को भोजन, नाश्ता ,सूखा खाना बांटा जा रहा है।इसमें प्रशासन का 1 रुपया भी खर्च नहीं हो रहा है।सभी जिलों में सभी संगठनों को मिलाकर लाखों की संख्या में यह कार्य जारी है।देश के अन्य हिस्सों में एनजीओ यह कार्य कर रहे हैं। यहां भी अनुमति प्रदान की जाए।डॉ रमन ने लिखा कि छत्तीसगढ़ के मजदूर अलग-अलग 15 से ज्यादा राज्यों में 50 हजार से 1 लाख तक की संख्या में रुके हैं। 3 मई तक आना संभव नहीं है। मजदूरों को आपदा कोष में उनके खाते में एक हजार तत्काल डाले।
मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक समिति बनाकर संबंधित राज्यों से तालमेल बनाकर 3 दिन में इसका निराकरण करें।पूर्व सीएम ने लिखा कि मजदूरों को दूसरे राज्य में चावल तो मिल रहा है लेकिन दूध, दवाई और अन्य सामग्री के लिए तत्काल जरूरत है। अभी तक कितने मजदूरों को अन्य राज्यों में चिन्हित कर पैसा भेजा गया। इसकी जानकारी सार्वजनिक करें।तत्काल निर्णय लें।
साथ ही उन्होंने यह भी लिखा कि हाईकोर्ट ने भी चिंता व्यक्त की है सभी संभाग में कोरोना के टेस्ट के लिए तत्काल लैब प्रारंभ करें और सभी मेडिकल कॉलेज में यह संभव है।पीपी किट, टेस्ट किट,वेंटिलेटर के लिए कार्य योजना बनाकर तत्काल खरीदी की व्यवस्था करें।डॉ रमन ने पत्र की प्रतिलिपि मुख्य सचिव छत्तीसगढ़ शासन को भी दी है।