ग्रामीणों ने बताया..रोजगार सहायक ने किया लाखों का घोटाला..फर्जी हाजरी से हुआ लाखों रूपयों का भुगतान..नए सीईओ ने दिया जांच का आदेश

BHASKAR MISHRA
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बिलासपुर—टेकर के ग्रामीणों ने रोजगार  सहायक पर मनरेगा में भारी गड़बड़ी का आरोप लगाया है। नाराज ग्रामीण दूसरी पर जांच की मांग को लेकर जिला पंचायत कार्यालय पहुंचे। ग्रामीणों ने बताया कि मामले में दो महीने पहले भी तात्कालीन मुख्य कार्यापलन अधिकारी को 13 बिन्दु वाल शिकायत पत्र देकर रोजगार सहायक के खिलाफ जांच की मांग की थी। लेकिन आज तक जांच नहीं हुई। जबकि रीतेश अग्रवाल ने जांच समिति का गठन भी किया था।

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               अच्छी खासी संख्या में टेकर के ग्रामीण मनरेगा मजदूर रोजगार सहायक के खिलाफ जांच की मांग को लेकर जिला पंचायत कार्यालय पहुंचे।  ग्रामीणों ने बताया कि कुछ डेढ़ महीना पहले 13 बिन्दुओं को लेकर तात्कालीन मुख्य कार्यपालन अधिकारी से जांच की मांग किए थे। बिन्दुओं पर गौर करने के बाद रीतेश अग्रवाल ने जांच का आश्वासन भी दिया था। उन्होने रिमन सिंह को जांच की जिम्मेदारी दी थी।

              शिकायत के कुछ दिनों बाद यानि 26 मई को रिमन सिंह ने बताया कि इस समय अधिकारियों को  महामारी अभियान में व्यस्त हैं।दो चार दिन बाद अधिकारी फुर्सत हो जाएंगे। इसके बाद मामले की जांच करने जरूर पहुूंचेगे। लेकिन आज तक एक भी अधिकारी जांच करने नहीं पहुंचा। और ना ही समिति का गठन ही हुआ है। 

                ग्रामीणों ने दुबारा 13 बिन्दु वाला आरोप पेश करते हुए नव पदस्थ मुख्य कार्यपालन अधिकारी को बताया कि जानकारी मिली है कि जिला पंचायत के कुछ कर्मचारी रोजगार सहायक को बचाने का प्रयास कर रहे हैं। शायद यही कारण है कि जांच को टाला जा रहा है। वहीं सीईओं ने ग्रामीणों को आश्वासन दिया की मामले की गंभीरता से लेते हुए जांच करेंगे। इसके बाद सीईओ ने एक कमेटी का गठन भी कर दिया है। 

                 अपने शिकायत में ग्रामीणों ने नए सीईओ को लिखित में बताया कि रोजगार सहायक गौठान निर्माण और राजीव गांधी सेवा केन्द्र निर्माण में फर्जीवाड़ा किया है। बिना मजदूरी के फर्जी तरीके से भुगतान किया गया है। रोजगार सहायक ने रसूखदारों के इशारे पर शासकीय मानदेय कर्मचारियों को भी मजदूरी का भुगतान किया है। किराना दुकान संचालक के नाम पर फर्जी हाजिरी दर्ज हुई है।

                       मेट और उसकी पत्नी के नाम पर सप्ताह में 22 हाजरी दर्ज हुआ है। बिना काम किए पूर्व सरपंच के पिता भाई  और रिश्तेदारों को हाजरी दिखाकर सरकारी राशि का भुगतान हुआ है। रोजगार सहायक ने प्रधानमंत्री आवास निर्माण में फर्जी मजदूरों की हाजरी लगाकर राशि को दबाया है। ग्रामीणों ने सीईओ को लिखित के साथ ही अन्य बिन्दुओ पर विस्तार से जानकारी दी। 

              जानकारी के अनुसार सीईओ ने जांच समिति का गठन कर दिया है। जल्द ही अधिकारियों के नाम का फैसला कर दिया जाएगा।

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