बिलासपुर– जिला चिकित्सालय में डॉक्टरो के नहीं होने की खबर से घंटो इंतजार कर रहे मरीज और परिजनों ने जमकर हंगामा किया । मरीजो का आरोप है कि वह जब भी उपचार के लिए जिला चिकित्सालय पहुचों तो डॉक्टर नदारद रहते हैं। या फिर डॉक्टर आपरेशन में व्यस्त हैं कहकर लौटा दिया जाता है। ऐसा कई महीनो से हो रहा है। माहौल बिगडता देख सिविल सर्जन ने तारबाहर पुलिस को बुलाया। आश्वासन के बाद मामला बड़ी मुश्किल से शांत हुआ।
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सुबह लाइन लगाकर बैठे मरीजो का गुस्सा उस समय भडक गया जब कम्पाऊंडर ने बताया कि डॉक्टर साहब आज नही आयेगे। इतना सुनते ही विगलांगता प्रमाण पत्र बनवाने और उपचार कराने पहुंचे मरीजों ने जमकर हंगामा करना शुरू कर दिया । पेण्ड्रा से आये राजकुमार वाचवानी ने बताया कि कि वह पिछले एक माह से अपने कमर का उपचार कराने आ रहा है। हर बार उन्हे डॉक्टर के नही होने की बात कही जाती है। कभी उनको डॉक्टर के आपरेशन थियेटर में होने की सूचना मिलती है तो कभी मीटिंग में होने की जानकारी दी जाती है।
आज भी उनके साथ ऐसा ही कुछ हुआ। कम्पान्डर ने बताया कि डॉक्टर साहब आपरेशन में व्यस्त हैं। बावजूद इसके उन्होंने फार्म जमा करवा कर डॉक्टर के आने का इंतजार कर रहे थे । इसी दौरान कम्पाऊडर ने बताया कि सब लोग वापस जाओ आज डॉक्टर नही आयेगे । बाचवानी ने बताया कि इस बार भी वही हुआ जैसा हर बार होता है।
बाचवानी ने बताया कि उनके पास रूपये नही है। वह प्राईवेट हास्पिटल नही जा सकते। सरकारी डॉक्टर उनका उपचार नही कर रहे है। हर बार बिलासपुर आने में हजार पांच सौ रुपये खर्च होते है। जिसका वहन कौन करेगा । मुंगेली और अन्य जगहो से आये लोगो ने बताया कि जिला चिकित्सालय में मंगलवार और शुक्रवार को विगलांगता प्रमाम पत्र बनता है। जिसके लिए वे कई महीनो से अस्पताल का चक्कर काट रहे है। लेकिन डॉक्टर उनकी मजबूरी का फायदा उठा रहे हैं।
एक तो वह विकलांग है जिसके चलते आने-जाने में काफी परेशानी होती है। जिला चिकित्सालय में हो रहे हो हंगामें को देकते हुए सिवल सर्जन ने मोर्चा सम्हाला और तारबाहर थाने को मामले की सूचना दी ।पुलिस बल की समझाइश के बाद मरीजो का गुस्सा शांत हुआ। सिविल सर्जन बीआर नंदा ने कहा की डॉक्टर एसएस भाटीया छुट्टी में गये हुए है। जिसके चलते ऐसे हालात बने हैं। लेकिन जल्द ही समस्याओं को ठीक कर लिया जाएगा।