बिलासपुर—अल्टरनेटिव चिकित्सकों ने नेहरू चौक पर धरना प्रदर्शन किया। सरकार और जिला प्रशासन की कार्रवाई के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। चिकित्सकों ने अल्टरनेटिव चिकित्सा को नर्सिंग एक्ट में शामिल होने तक जंग का एलान किया। अल्टनेटिव चिकित्सकों ने बताया कि जब छत्तीसगढ़ चिकित्सा मंडल अधिनियम 2001 की धारा 2 की उपधारा(ग) शामिल है। ऐसे में न्यायालयों का अल्टरनेटिव चिकिस्तको पर प्रैक्टिस करने पर पावंदी गैर वैधानिक है।
नेहरू चौक पर धरना प्रदर्शन कर रहे अल्टरनेटिव चिकित्सकों ने सरकार और जिला प्रशासन के खिलाफ जंग का एलान किया है। चिकित्सकों ने बताया कि हमारे खिलाफ झोलाछाप डाक्टरों की तरह व्यवहार किया जा रहा है। जबकि छत्तीसगढ़ चिकित्सा मंडल अधिनियम में अल्टनेटिव चिकित्सकों को प्रैक्टिस का दर्जा हासिल है। बावजूद इसके पढ़े लिखे डिग्री डिप्लोमाधारी चिकित्सकों को परेशान किया जा रहा है।
चिकित्सकों ने बताया कि अल्टरनेटिव चिकित्सा.यूनानी,होमियोपैथी,आयुर्वेद जैसी ही चिकित्सा पद्धति है। बावजूद इसके उन्हें फर्जी बताकर जिला प्रशासन परेशान कर रहा है। बिना पूर्व सूचना क्लिनिक पर तालाबंदी की जा रही है। नाराज चिकित्सकों के अनुसार सरकार एक तरफ तो डिग्री और डिप्लोमा दे रही है। दूसरी तरफ पीड़ित चिकित्सकों के पेट पर लात मारा जा रहा है।
धरना पर बैठे चिकित्सकों ने कहा कि समय समय पर हम लोगों ने सरकार और जिला प्रशासन का सहयोग किया है। शहर से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में मरीजों का इलाज कर लोगों के जीवन को बचाया है। आज तक किसी अल्टरनेटिव चिकित्सा से किसी भी मरीज की जान नहीं गयी है। अल्टरनेटिव चिकित्सा के बाद तथाकथित बड़े डाक्टरों का नुकसान हुआ है। अल्टरनेटिव चिकित्सकों ने गंभीर मरीजों को अस्पताल पहुंचने से इलाज कर नया जीवन दिया है।
चिकित्सकों ने बताया कि क्लिनिक में तालाबंदी के बाद उनका परिवार सड़क पर आ गया है। हमारी सरकार से मांग है कि क्लिनिकों को खोलने की अनुमति दे। साथ ही अल्टरनेटिव चिकित्सा को नर्सिंग एक्ट में शामिल करे।