ताँदुला नदी को जलकुँभी से मुक्त कराने की मुहिम में स्काउट-गाईड्स की हिस्सेदारी

Chief Editor
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बालोद । तांदुला नदी को बचाने और जलकुँभी से मुक्त करने एक अभियान शुरू किया गया है। जिसमें जिले के स्काउट-गाइड्स ने भी अपनी सक्रिय हिस्सेदारी निभाई और एक बड़े हिस्से को जलकुँभी से मुक्त कराया।

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तांदुला नदी जो बालोद से लेकर दुर्ग-भिलाई तक के जनजीवन को जीवन प्रदान करने वाली नदी है,आज पूरी तरह से जलकुंभियों और प्रदूषण से पटी हुई है। जलकुंभियों के कारण नदी अपना मौलिक स्वरूप खो चुकी है।नदी की इस दुर्दशा को देखकर बालोद जिला के स्काउट्स-गाइड्स ने इसे स्वच्छ और जलकुंभियों से मुक्त करने के लिए नदी में उतरने का संकल्प किया और भारत स्काउट गाइड छग के चीफ कमिश्नर गजेंद्र यादव, जिला मुख्य आयुक्त पवन साहू एवम जिला शिक्षाधिकारी बी आर ध्रुव के मार्गदर्शन में जिला सचिव स्काउट जितेन्द्र शर्मा एवम DOC सूरज कसार,गाइड प्रभारी कमला वर्मा के नेतृत्व में नदी स्वच्छता अभियान में बालोद विखं के 100 स्काउट गाइड और स्काउटर गाइडर्स ने अपनी भागीदारी प्रदान की।

तांदुला नदी को बचाने की इस मुहिम की शुरुआत नगर के कुछ प्रबुद्ध और पत्रकारों के द्वारा की गई जिसमें आज बालोद जिला के स्काउट-गाईड्स ने अपनी महती भूमिका निभाई और एक बड़े क्षेत्र को जलकुंभियों से मुक्त कराया। नदी स्वछता के इस कार्य मे तीरथ बड़गैय्या विखं सचिव, जितेंद्र गजेंद्र,रोहित देशमुख,मारूति शर्मा,भुनेश्वर लेंडिया, टी आर ठाकुर,पूर्णिमा देवी, सैनी मैडम, अजय लढ्ढा, ठाकुर,रघुनंदन गंगबेर आदि शिक्षकगण ने भी इस पुनीत कार्य मे अपनी सहभागिता दी। जिला सचिव जितेंद्र शर्मा ने बताया कि आगामी समय मे हम इस नदी स्वच्छता के कार्य को जारी रखने का प्रयास करेंगे। जिले के सभी विखं के स्काउट्स गाइडर्स समय समय पर तांदुला नदी सफाई में अपनी सहभागिता प्रदान करेंगे।
प्रदूषण से पर्यावरण को बहुत नुकसान हुआ है,नदियाँ लगातार सुख रही है,अथवा अपना मौलिक स्वरूप खो चुकी है।जल ही अमृत है को ध्यान में रखकर हमें नदियों व जलस्रोतों के संरक्षण पर कार्य करना होगा। तांदुला नदी में जलकुंभी की सफाई को जन आंदोलन बनाना होगा, स्काउट-गाइड प्रकृति प्रेमी होता है,हमने अपना दायित्व निभाया है।

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