शैलेष नितिन का सवाल-सरकार बताए स्मार्ट कार्ड से कहां इलाज कराए मरीज…?

Shri Mi
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रायपुर। गरीबो के इलाज में स्मार्ट कार्ड में उत्पन्न गंभीर अव्यवस्था की स्थिति पर इससे गरीब मरीजों के सामने इलाज की गम्भीर समस्या उत्पन्न हो गई इस पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महामंत्री एवं संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने कहा है कि भाजपा सरकार गरीबों को स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने में विफल रही है। स्मार्ट कार्ड योजना के तहत सरकारी खजाने से लाखों करोड़ों रुपए की राशि बतौर प्रीमियम बीमा कंपनियों को देने के बाद भी जनता को लाभ नही मिल पाना छत्तीसगढ़ के जनता के साथ धोखा है, छल है।

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स्मार्ट कार्ड से इलाज करने वाले अस्पतालों का 100 करोड़ रुपए का भुगतान बीमा कंपनियों ने पिछले 3 माह से नहीं किया है। बीमा कंपनियों को अस्पतालों में फोन करके स्मार्ट कार्ड से इलाज नही करने की हिदायत दे दी है। इसके बाद गरीब मरीजों के इलाज करने से अस्पतालों ने हाथ खड़े कर दिये।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महामंत्री एवं संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने कहा है कि रमन सरकार पर हमला करते हुए पूछा जब बीमा कंपनी ही अस्पतालों को स्मार्ट कार्ड से इलाज करने से मना कर रही है तो फिर स्मार्ट कार्ड का औचित्य क्या रह गया और गरीब अपना इलाज कराने कहां जाये ? स्मार्ट कार्ड बनाने के नाम पर रमन जनता के साथ धोखा क्यों? उन्होंने कहा कि रमन सरकार की नैतिक जिम्मेदारी थी कि स्मार्ट कार्ड योजना के अंतर्गत इलाज कर रहे अस्पतालों को बीमा कंपनियां भुगतान समय पर करें परंतु भाजपा सरकार और बीमा कंपनियों के सांठगांठ और कमीशनखोरी के कारण गरीब मरीजों को अस्पतालों में इलाज नहीं मिल पा रहा है।

सरकारी संरक्षण में बीमा कंपनियों भारी आर्थिक गड़बड़ियां कर रही है और रमन सिंह एवं स्वास्थ्य मंत्री चुप्पी साधे है। स्मार्ट कार्ड धारकों के साथ अन्याय के लिये रमन सरकार जिम्मेदार है।
प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महामंत्री एवं संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने कहा है कि राज्य के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जिला अस्पताल एवं बड़े सरकारी अस्पतालों में बेहतर चिकित्सकीय संसाधन,विशेषज्ञ चिकित्सक, नर्सिंग स्टाफ ,दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित करने में भाजपा सरकार विफल हो चुकी है।

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पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
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