रायपुर—छत्तीसगढ़ राज्य के बीपीएल राशन कार्डधारी परिवारों को राशन दुकानों से रियायती दर पर चना और निःशुल्क नमक वितरण की योजना फिर प्रारंभ किया जाए। यह मांग पूर्व मुख्यमंत्री और मरवाही विधायक अजीत जोगी ने खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री मोहम्मद अकबर को पत्र लिखकर की है।
अजीत जोगी ने मंत्री मोहम्मद अकबर को पत्र में लिखा है कि शासन से संचालित सार्वजनिक वितरण प्रणाली के राशन दुकानों से गरीबी रेखा से नीचे जीपनयापन करने वाले परिवारों को 10 रुपये में 2 किलो चना और निःशुल्क 2 किलो नमक दिया जाता था। अप्रैल माह से बंद कर दिया गया है। जबकि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा था कि चना एवं नमक वितरण के योजना को बंद नहीं किया गया है। सच्चाई यह है कि सार्वजनिक वितरण प्रणाली की राशन दुकानों से राशन देने के पहले जिस टेबलेट में हितग्राही का अंगूठा लगवाया जाता है उस टेबलेट में चावल, शक्कर एवं मिट्टी तेल का नाम प्रदर्शित तो होता है लेकिन चना एवं नमक का नाम का जिक्र नहीं है।
इसका सीधा सा मतलब है कि खाद्य विभाग ने चना एवं नमक का वितरण बंद कर दिया है। इसका अर्थ है कि टेबलेट से चना एवं नमक के नाम को विलोपित कर दिया गया है।
अजीत जोगी ने लिखा है कि गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले राशन कार्डधारी परिवारों को राशन दुकानों से पहले की ही तरह रियायती दर पर चना एवं निःशुल्क नमक दिए जाए।
अजीत जोगी ने समाज कल्याण मंत्री अनिला भेड़िया को भी पत्र लिखकर मांग किया है कि शारीरिक रूप से कमजोर एवं निशक्त हितग्राही को सामाजिक सुरक्षा योजना का पेंशन राशि का नगद भुगतान किया जाए। मरवाही विधानसभा क्षेत्र में बड़ी संख्या में शारीरिक रूप से कमजोर एवं निशक्त हितग्राही रहते हैं। जिन्हें सामाजिक सुरक्षा पेंशन राशि लेने के लिए बैंक जाने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। कई बार बैंक का चक्कर लगाना पड़ता है। शारीरिक रूप से कमजोर एवं निशक्त हितग्राहियों के प्रति मानवीय संवेदना दिखाते हुए पेंशन राशि का नगद भुगतान किया जाए।