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बिलासपुर।कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उस बयान का जिसमे भारत रत्न,पूर्व प्रधानमंत्री स्व राजीव गांधी जी के संदर्भ में अशोभनीय, मनगढ़ंत और स्तरहीन विचार व्यक्त किया है कि निंदा की है । लोकसभा प्रत्याशी,प्रदेश महामंत्री अटल श्रीवास्तव,ज़िला अध्यक्ष विजय केशरवानी,शहर अध्यक्ष नरेंद्र बोलर,नगर विधायक शैलेष पांडेय,प्रदेश प्रवक्ता अभय नारायण राय और नेता प्रतिपक्ष शेख नजीरुद्दीन ने प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिस भाषा का प्रयोग कर अपना विचार रखा है वह भारतीय लोकतंत्र में वैचारिक पतन के साथ साथ एक पूर्व प्रधानमंत्री ,जिसे भारत सरकार ने भारत रत्न सहित अनेको राश्ट्रीय–अंतर्राष्ट्रीय सम्मान से नवाजा गया है।सीजीवालडॉटकॉम के Whatsapp ग्रुप से जुड़ने के लिए यहाँ क्लिक करे
नरेंद्र मोदी चुनाव हारने की भय से मानसिक संतुलन खो रहे है ,उनकी भाषा और विचार बाज़ारू,स्तरहीन,होते जा रहे है ,शायद नरेंद्र मोदी जिस संस्था की उपज है उसका संस्कार बोल रहा है।
देश के पहले प्रधानमंत्री है नरेंद्र मोदी जिन्हें उस पद की गरिमा का और प्रोटोकाल का ध्यान नही है ,अपने विरोधियो पर भद्दा कटाक्ष करते रहे पर अब वे लोकतंत्रकी सारी मर्यादाओ की सीमाओको तोड़कर ,पांच वर्ष की अपनी विफलता को छिपाने के लिए शहीद पूर्व प्रधानमंत्री स्व राजीव गांधी पर गन्दा टिप्पणी किया है ,नरेंद्र मोदी के इस बयान का कांग्रेस कमेटी कड़े शब्दों में निंदा करती है।
कांग्रेस ने कहा राजीव गांधी जी ने अपने प्रधानमंत्रित्व काल में देश कोअनेक योजनाएं लागु कियेऔर सँविधान में संशोधन कर युवाओं को 18 वर्ष की आयु में मताधिकार,पंचायती राज लाकर समाज के अंतिम व्यक्ति को शासन में भागीदारी सुनिश्चित किये,देश में कम्प्यूटर ला कर देश को आधुनिक युग से जोड़ने का काम किया,सेना का अधुनिककरण करने में अहम भूमिका अदा की,पड़ोसी देशों में अमन शांति स्थापित करने के लिए श्रीलंका में शांति सेना भेजी।
जब देश में अलगाववादी ताकते सर उठा रहे थे चाहे पंजाब हो या पूर्वोत्तर राज्य बड़ी कुशलता से उस समस्यों कोहल किये ,पर नरेंद्र मोदी को किसी व्यक्ति में अच्छाई दिखती नही क्योकि नरेंद्र मोदी और भाजपा ने देश में अंग्रेजियत चरित्र को स्वीकार कर लिया है ” फुट डालो और राज करो “।
आज पूरा देश,युवा,महिला,किसान,व्यापारी आम जन इस उहापोह में है कि नरेंद मोदी और भाजपा विष घोलने में लगे है।अपने निजी स्वार्थ,पदलोलुपता के लिए सेना ,संवैधानिक संस्थाओं को भी बदनाम करने में कोई गुरेज नही कर रहे है पर इस का परिणाम से अनभिज्ञ है ।