मंत्री लखमा ने कहा ….कांग्रेस कार्यकर्ताओं को प्राथमिकता..पीना बन्द करो..बन्द हो जाएगी शराब बिक्री…नई उद्योग नीति में स्थानीय लोगों को मिलेगा न्याय

BHASKAR MISHRA
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बिलासपुर— नवम्बर दिसम्बर मे .छत्तीसगढ़ सरकार की नई उद्योग नीति आएगी। उद्योग नीति क्रातिकारी होगी।सीएम ने स्पष्ट किया है कि स्थानीय लोगों को नीति में विशेष स्थान दिया जाएगा। प्रदेश में तीन जगह औद्योगिक ट्रेनिंग सेन्टर बनाया जाएगा। आदिवासी समाज को उद्योग से जोड़ा जाएगा। शराबबंदी मुद्दा हमारे घोषणा पत्र का अहम हिस्सा है। जनसमर्थन और जांच पड़ताल के बाद किसी प्रकार का निर्णय लिया जाएगा। यह बातें उद्योग एवं आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने पत्रकार वार्ता के दौरान कही।

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                         पहली बाहर मंत्री के बाद बिलासपुर पहुंचे उद्योग एवं आबाकारी मंत्री का बिलासपुर में कांग्रेसियों ने स्वागत किया। पत्रकारों से बातचीत के पहले मंत्री ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ बैठक की। कवासी लखमा ने कहा कि हमारे लिए पहले कांग्रेस कार्यकर्ता इसके बाद कलेक्टर और एसपी हैं। कवासी लखमा ने बताया कि सरकार नवम्बर दिसम्बर तक नई उद्योग नीति लाएगी। उद्योग नीति में स्थानीय लोगों को प्राथिकता दी जाएगी।  सरकार ने फैसला किया है कि प्रदेश में तीन स्थानों में ट्रेनिंग सेन्टर खोला जाएगा। सरगुजा ,दुर्ग और बस्तर में स्थापित ट्रेनिंग सेन्टर में औद्योगिक प्रशिक्षण दिया जाएगा। रायपुर में पहले से ही ट्रेनिंग सेन्टर स्थापित है।


क्यों पिछड़ गया बिलासपुर

                     उद्योग नीति में बिलासपुर पर कितना फोकस किया जाएगा। बिलासपुर पिछले पन्द्रह सालों में पिछड गया है। यहां कोयला बिजली का उत्पादन सर्वाधिक होता है। बावजूद इसके विकास में काफी पीछे छूट गया है। आखिर जिले को न्याय कब मिलेगा। सवाल के जवाब में कवासी लखमा ने कहा कि प्रदेश में दो बड़े और मुख्य शहर हैं। रायपुर राजधानी तो बिलासपुर न्यायधानी है। ट्रेनिंग सेन्टर में बिलासपुर की भी भूमिका होगी। मुख्यमंत्री ने बिलासपुर जिले को अपनी प्राथमिकताओं में रखा है। बिलासपुर के साथ हमेशा बेहतर होगा। इसका सुनियोजित तरीके से विकास किया जाएगा। यहां उद्योग को बढावा देने के लिए युद्ध स्तर पर काम होगा। कवासी लखमा ने कहा कि बिलासपुर को आद्योगिक नगर बनाया जाएगा। बस इंतजार कीजिए।

फन वर्ल्ड की मांगेगे जानकारी

                             शहर में उद्योग के नाम पर ली गयी जमीन का उपयोग फन वर्ल्ड और अन्य गतिविधियों में हो रहा है। लखमा ने कहा कि हमे जानकारी नहीं है। बैठक में पता लगाएंगे कि आखिर ऐसा कौन और किसके इजाजत से कर रहा है। शिकायत सही पाए जाने पर कार्रवाई होगी।

बैठक में कार्यकर्ताओंं ने शिकायक की है कि पन्द्रह साल बाद सरकार बनीं…लेकिन फायदा आएसएस और भाजपा कार्यकर्ताओं में मिल रहा है। इस आरोप में कितनी सच्चाई है। लखमा ने बताया कि ऐसा संभव नहीं है। यदि है तो पता लगाएंगे। क्योंकि कार्यकर्ताओं से ही हम हैं। कार्यकर्ता मैदान में रहता है। उसके साथ अन्याय नहीं होने दिया जाएगा। मैने स्पष्ट कर दिया है कि किसी भाजपा या आरएसएस को नहीं बल्कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं को तवज्जो दी जाए। शिकायत को सरकार के सामने रखेंगे।

विधायक ने कहा है कि शराबबन्दी होगी। सवाल पर लखमा ने कहा कि विधायक ने नहीं हमने अपने घोषणा पत्र में मुद्दे को शामिल किया है। शराब बन्दी से पहले सभी दलों,युवाओं, स्थानीय जनप्रतिनिधियों से परामर्श किया जाएगा। इसके बाद गंभीरता के साथ विचार किया जाएगा। बाहरी शराब तेजी से प्रदेश में आ रहे हैं के सवाल पर लखमा ने कहा कि कलेक्टर और आबकारी अधिकारी से मामले पर बातचीत करेंगे।

लखमा शराब बन्दी के समर्थन करेंगे या नहीं…जवाब में मंत्री ने बताया कि किसी बड़े निर्णय पहुंचने के लिए स्भी पहलुओं पर ध्यान दिया जाता है। नोटबन्दी नहीं है कि रात्रि को मोदी ने कह दिया आज से पुराना नोट बन्द। हमारी मंशा है कि किसी को परेशानी ना हो और काम भी हो जाए।

जमकर लगा ठहाका

एक सवाल और उद्योग मंत्री का जवाब…फिर जमकर लगा ठहाका। सवाल कुछ इस तरह था…लोगों की शिकायत है कि ब्रांडेड शराब जानबुझकर नहीं बेचा जा रहा है। आबकारी विभाग के लोग गड़बड़ी कर रहे हैं। लखमा ने बताया कि अच्छा तो है…जब ब्रांडेड नहीं मिल रहा है तो लोग दूसरा पीएं। या फिर शराब पीना ही छोड़ें। क्योंकि वही लोग तो कहते हैं कि शराब बेचना बन्द किया जाए। यदि ब्रांडेड नहीं तो चपटी से काम चलाएं। अरे भाई इसी तरह तो शराब की बिक्री बन्द होगी। सवाल सुनते ही लोगों ने जमकर ठहाका लगाया।

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