Google ने बिगाड़ी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ये अहम आदत, पीएम ने लुच यूं बयां किया अपना ‘दर्द’

Shri Mi
3 Min Read
Ram Mandir, Ram Temple, Ram Temple In Ayodhya, Ram Mandir In Ayodhya, Supreme Court, Modi Government,Jagdish Thakkar, Pro Jagdish Thakkar, Pm Narendra Modi,

नई दिल्ली-आज मन की बात (Mann Ki Baat) में पीएम मोदी (Prime Minister Narendra Modi) का गुस्सा गूगल पर फूट गया है. दरअसल पीएम मोदी (PM Modi) ने आज मन की बात (Mann ki Baat) कार्यक्रम के माध्यम से देशवासियों को संबोधित किया. प्रधानमंत्री मोदी ने मन की बात में कहा है कि गूगल (Google) ने उनकी आदत को काफी प्रभावित किया है. पीएम मोदी के मुताबिक, पहले वे किताबें पढ़ा करते थे लेकिन गूगल के आ जाने से उनकी पढ़ाई की आदत काफी बिगड़ गई है. सीजीवालडॉटकॉम के व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़ने के लिए यहाँ क्लिक कीजिए

Join Our WhatsApp Group Join Now

पीएम मोदी का मानना है कि आज कल लोग हर चीज का शार्टकट खोजने में जुटे हैं और गूगल ने इसको और भी आसान बना दिया। प्रोग्राम में रोहतक, हरियाणा (Haryana) के एक स्टूडेंट अखिल ने प्रधानमंत्री से पूछा कि वह बहुत व्यस्त रहते हैं लेकिन क्या इसके बावजूद उन्हें टीवी (TV) देखने, फिल्में देखने या किताबें (Books) पढ़ने का वक्त मिल पाता है?
इसके जवाब में पीएम मोदी (PM Modi) ने बताया कि वो पढ़ने के शौकीन रहे हैं और उन्होंने ये भी साफ किया कि उनकी फिल्मों में कोई रुचि नहीं रही है. हालांकि उन्होंने ये भी बताया कि वो कभी-कभी डिस्कवरी चैनल देख लेते थे.

पीएम मोदी ने मजाकिया अंदाज में कहा कि मैं किताबें पढ़ा करता था लेकिन आजकल मैं बहुत नहीं पढ़ पाता और गूगल ने भी हमें बिगाड़ा है क्योंकि हम कभी भी उससे किसी चीज के बारे में जान सकते हैं. प्रधानमंत्री ने इसके साथ ही नेशनल कैडेट कोर (NCC) के स्टूडेंट्स से बात की और उनके सवालों के जवाब दिए.

मन की बात के इस 59वें कार्यक्रम में पीएम मोदी ने अयोध्या मामले में उच्चतम न्यायालय (Supreme Court) के फैसले को ऐतिहासिक बताने के साथ ही प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इस मामले में धैर्य और परिपक्वता का परिचय देने के लिए देश की जनता को साधुवाद दिया.

प्रधानमंत्री ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के इस ऐतिहासिक फैसले के बाद देश, न्यू इंडिया (New India) की भावना को अपनाकर शांति, एकता और सद्भावना के साथ आगे बढ़े- यही मेरी कामना है, हम सबकी कामना है.’’ उन्होंने कहा कि जब 9 नवम्बर को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया तो 130 करोड़ भारतीयों ने फिर से ये साबित कर दिया कि उनके लिए देशहित से बढ़कर कुछ नहीं है.

By Shri Mi
Follow:
पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
close