रायपुर। छत्तीसगढ़ के पूर्व मंत्री और भाजपा विधायक अजय चंद्राकर ने नई मछुआ नीति को लेकर राज्य सरकार को आड़े हाथ लिया है। चंद्राकर ने कांग्रेस सरकार को छत्तीसगढ़िया विरोधी सरकार बताया है।अजय चंद्राकर ने ट्वीट कर कहा कि, मुख्यमंत्री जी आपने अपने शासन की मछुवारा नीति पढ़ी है कि नहीं? लाखों गरीब मछुवारों की रोजी-रोटी छीन ली। यदि आप में नैतिक साहस है तो खुले मंच बिंदुवार बहस हो जाए… मैं आपके आमंत्रण का इंतजार करूंगा।
अजय चंद्राकर ने कहा कि, भूपेश जी की सरकार छत्तीसगढ़िया सरकार नहीं ये पूरी तरह से छत्तीसगढ़वासियों की विरोधी सरकार है। छत्तीसगढ़ के दबे कुचले और परंपरागत व्यवसाय करने वाले समुदाय जिसमें खासकर मछुआरा समुदाय के लोगों की घोर विरोधी सरकार है।छत्तीसगढ़ सरकार ने जो नई मछुआ नीति जारी की है उसमें मछुआ समिति जो पंजिकृत होती थी उसे प्राथमिकता क्रम से हटा दिया है। अब कोई भी निविदा में शामिल हो सकता है। मछुआरों का जो विशेषाधिकार था वह पूरी तरह से खतम हो गए है। इस नए नियम में कोई भी व्यक्ति आकर भाग ले सकता है चाहे वह छत्तीसगढ़ के हो या ना हो।
दूसरी बात यह है कि, सूखान क्षेत्रों में पहले रॉयल्टी माफ थी, उसमें भी अब रॉयल्टी ली जाएगी। इसमें गोधन न्याय योजना के तहत जो गोठान समितियां है उसे भी जोड़ दिया गया है, जिसके पास मछली पालन का कोई भी अनुभव नहीं है। हजार हेक्टेयर के जो तालाब होते थे या जल क्षेत्र होते थे उसकी मिल्कियत मछुआरा महासंघ के पास होती थी उसको भी हटा दिया गया है।
उसमें जो 50 प्रतिशत रॉयल्टी देना पड़ेगा उसे भी शासन को देना पड़ेगा जो पहले सरकार को देने की जरूरत नहीं थी। यहा कंगाल सरकार जो है मछुआरों का हक मारके, छत्तीसगढ़ के गरिब वर्ग का हक मारके उससे भी पैसा वसूलने की कोशिश कर रही है।
मान. मुख्यमंत्री कांग्रेसी (छत्तीसगढ़ कांग्रेस शोषित)..
— Ajay Chandrakar (@Chandrakar_Ajay) August 27, 2022
आपने अपने शासन की मछुवारा नीति पढ़ी है कि नहीं..? लाखों गरीब मछुवारों की रोजी-रोटी छीन ली… यदि आप में नैतिक साहस है तो खुले मंच बिंदुवार बहस हो जाए.. मैं आपके आमंत्रण का इंतजार करूंगा..@bhupeshbaghel @BJP4CGState pic.twitter.com/3Whu5ug6ZJ