चार दिन में नर्सिंग कॉलेज की 5 दर्जन छात्राओं को फूड पाइजनिंग, एक की मौत

Shri Mi
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भिलाई नगर। पिछले 4 दिनों से 4 दर्जन से अधिक नर्सिंग कालेज की छात्राएं फुड पाइजनिंग का शिकार हो अस्पताल पहुंचती रहीं लेकिन कालेज प्रबंधन इस बात की प्रशासन को भनक न लगे, इस प्रयास में जुटा रहा। एक निजी अस्पताल में भर्ती कालेज की छात्राओं ने छात्रावास के मेस के खाने को स्तरहीन बताया है। बीमार छात्राओं में से एक की बालोद में मौत होने और हाईटेक अस्पताल की सूचना पर प्रशासन को इस मामले की खबर लगी नतीजतन कमिश्नर, महापौर समेत अन्य अधिकारी अस्पताल पहुंचे और भर्ती छात्राओं का हाल पूछा।मिली जानकारी के अनुसार मॉडल टाउन क्षेत्र में संचालित रस्तोगी नर्सिंग कॉलेज की 39 छात्राएं फूड प्वाइजनिंग का शिकार हो अब भी अस्पताल में हैं जिनमें से 13 की हालत सामान्य बताई गईं हैं। लेकिन शुक्रवार से भर्ती अनेक छात्राओं में से कुछ की छुट्टी भी की जा चुकी है जिससे संभावना है कि लगभग 60 छात्राएं फुड प्वायजनिंग का अब तक शिकार हुई हैं। सभी छात्राओं को नेहरू नगर के हाईटेक अस्पताल में भर्ती कराया गया है जिसमें एक छात्रा की मौत हो गई है।

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गौरतलब हो कि इस नर्सिंग कॉलेज में 300 छात्राएं हॉस्टल में रहकर एएनएम और नर्सिंग का कोर्स करती हैं। शुक्रवार को कुछ छात्राओं को फूड प्वाइजनिंग की शिकायत हुई थी। प्रबंधन ने उन्हें उपचार के लिए हॉस्पिटल में भर्ती कराया, इसके बाद एक-एक कर और भी छात्राओं की तबीयत बिगड़ती चली गई। बताया जा रहा है कि हास्टल के मेस का खाने को लेकर आपत्ति जताई जा रही है, जिसकी जांच की जा रही है। भर्ती छात्राओं ने बताया कि मेस में घटिया खाना दिया जाता है।

जानकारी मिलते ही महापौर नीरज पाल ने जब बीमार छात्राओं से बात की तो उन्होंने बताया कि मेस में उन्हें घटिया खाना दिया जाता था, वहां बासी खाना खिलाया जाता है। दाल पानी की तरह होती है, सब्जी, चावल व रोटी की क्वालिटी बिल्कुल खराब है। बासी व खराब खाना खाने से ही उनकी तबीयत बिगड़ी है। नीरज पाल ने आदेश दिया है कि भिलाई नगर निगम क्षेत्र में जितने भी कॉलेज व अन्य हॉस्टल हैं उसकी एक-एक करके जांच की जाए, वहां दिए जाने वाले खाने के मेन्यू और मिलने वाले खाने की जांच कर देखा जाए यदि कहीं भी कोई कमी पाई जाती है तो उस पर कड़ी कार्रवाई की जाए।

आरोप यह भी लगे हैं कि कालेज प्रबंधन पिछले तीन दिनों से यह मामला दबाए हुए है, चौथे दिन जब बालोद निवासी छात्रा कामिनी की डेथ हुई तो मामला आग की तरह फैला और जानकारी मिलते ही भिलाई नगर निगम के मेयर नीरज पाल, आयुक्त लोकेश चंद्राकर, उपायुक्त अशोक द्विवेदी सहित अन्य लोग पहुंचे। महापौर नीरज पाल ने दुर्ग कलेक्टर से बात की और मामले की जांच कराने कहा। निगम आयुक्त खुद मामले की जांच करा रहे हैं।वहीं दूसरी तरफ कॉलेज प्रबंधन ने मौत की जिम्मेदारी लेने से इंकार किया है। कॉलेज के जीएम ने कहा कि कामिनी की तबीयत खराब जरूर हुई थी लेकिन वह ठीक हो गई थी। इसके बाद उसके परिजन उसे बालोद घर लेकर चले गए थे और वहां उसकी डेथ हुई है, इस मौत के लिए प्रबंधन जिम्मेदार नहीं है।

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पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर
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