CEO के खिलाफ राजवाड़े ने बनाया ग्राउण्ड…APEX से नहीं मांगा ऋण…लोन नहीं मिलने से किसानों में भारी आक्रोश

BHASKAR MISHRA
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बिलासपुर— जिला सहकारी बैंक संचालक की जिद से किसानों में आक्रोश बढ़ता ही जा रहा है। समय पर लोन नहीं मिलने से नाराज किसान कभी भी बैंक प्रबंधन के खिलाफ जंग का एलान कर सकते हैं। किसानों ने बताया कि अभी तक खाद बीज पानी और खेती बाड़ी की तैयारी को लेकर लोन तक नही मिला है। जबकि अप्रैल महीने का एक सप्ताह बीत भी चुका है। नियमानुसार लोन एक अप्रैल से बटना शुरू हो जाता है।

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                              सीईओ और संचालक मंडल के बीच अनबन लम्बी खिंचती जा रही है। इसी के साथ किसानों का आक्रोश बढता रहा है। जानकारी के अनुसार संचालक मण्डल प्रमुख मुन्नाराम राजवाड़े ने अपेक्स से ऋण मांगने से इंकार कर दिया है। यद्यपि मुन्नाराम का कहना है कि अपेक्स बैंक ने अभी तक मांगे जाने के बाद भी ऋण देने से मना कर दिया है। यही कारण है कि अभी तक किसानों को लोन वितरित नहीं किया गया है।

लोन वितरण के क्या नियम

                मालूम हो कि शासन नई फसल की तैयारी,खाद,बीज और अन्य प्रकार के कर्ज की समस्या से बचाने जिला सहकारी बैंक के जरिए बिना ब्याज का ऋण किसानों को देता है। किसानों को किसी प्रकार की असुविधा ना हो इस बात को ध्यान में रखकर लोन का भुगतान हर साल 1 अप्रैल से किया जाता है। लेकिन इस बार बहुत दिनों के बाद ऐसा देखने में आया है कि लोन का भुगतान जिला सहकारी बैंक अप्रैल महीने के एक सप्ताह बाद भी नहीं किया है।

                                     बैंक कर्मचारियों ने बताया कि इस साल जिला सहकारी बैंक ने अपेक्स बैंक से किसानों को व्याज रहित लोन के लिए कुल 510 करोड़ रूपए मांगने का प्रस्ताव है। इस राशि में नाबार्ड की हिस्सेदारी 259 करोड़ की होगी। बाकी राशि अपेक्स बैंक अपनी तरफ से देगा। जिला सहकारी बैंक कुल राशि को निश्चित व्याज दर पर लौटाएगी। किसानों को व्याजरहित 18-18 हजार रूपए का लोन दिया जाएगा।

अभी नहीं मिली राशि

             बहरहाल किसान लोन के लिए लगातार चक्कर काट रहे हैं। जैसे की जानकारी मिली है कि संचालक मण्डल प्रमुख मुन्नाराम ने किसानों को दो टूक कहा है कि अभी अपेक्स बैंक ने रूपए नहीं दिये हैं। इस कारण लोन वितरण नहीं किया जाएगा। राशि मिलते ही किसानों को ऋण दिया जाएगा। संचालक मण्डल प्रमुख से दो टूक सुनने के बाद किसानों में आक्रोश बढ़ता ही जा रहा है। बैंक से जानकारी मिली है कि जब तक जिला सहकारी बैंक संचालक प्रमुख मुन्नाराम अपेक्स से रूपए नहीं मांगेेगे तब तक अपेक्स बैंक रूपए नहीं देगा।

रूपए नहीं मांगने की वजह सीईओ 

                 सूत्रों की माने तो किसानों के लिए मुन्नाराम तब तक रूपए की मांग नहीं करेंगे जब तक वर्तमान सीईओ रहेंगे। क्योंकि अपेक्स बैंक हमेशा चाहता है कि दी गयी राशि व्याज के साथ वापस लौटे। यही कारण है कि वह जिला सहकारी बैंक में हमेशा अपना सीईओ देखना चाहता है। यदि ऐसा नही भी हुआ तब भी वह सीईओ पर निर्भर रहता है।

                    इस बात को मुन्नाराम भी अच्छी तरह से जानते हैं कि अपेक्स बैंक जब लोन देगा तो उसकी नजर सीईओ पद पर रहेगी। अपेक्स बैंक चाहेगा कि सीईओ पद पर अभिषेक तिवारी ही रहें। शायद यही कारण है कि सीईओ से 36 का आंकड़ा रखने वाले मुन्नाराम राजवाड़े अपेक्स बैंक के सामने ऋण की मांग नहीं कर रहे हैं। जिसके कारण किसानों को दर दर भटकना पड़ रहा है। जबकि अपेक्स बैंक चाहता है कि किसानों को समय पर लोन मिल जाए। लेकिन अहम के टकराब के कारण मुन्नाराम अपेक्स बैंक से ऋण नहीं ले रहे हैं। क्योंकि उन्हें उम्मीद है कि ऋण लेने से पहले अभिषेक तिवारी को हटाने में कामयाबी मिल जाएगी।

                                           यदि ऐसा नहीं हुआ तो अभिषक तिवारी को हमेशा के लिए सीईओ पद पर झेलना पड़ेगा।

किसानों में आक्रोश

            फिलहाल सीईओ को लेकर मुन्नाराम की जिद किसानों पर भारी पड़ते दिखाई दे रही है। एडवान्स लोन लिफ्टिंग नही होने से किसान परेशाना है। किसानों पर कर्ज भी लगातार बढ़ता जा रहा है।

 

 

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