कोयला माफिया दीपक बलिया से गिरफ्तार..हजारों टन कोयला अफरा तफरी का आरोप..ट्रांसपोर्टर को लगाया करोड़ों का फटका..सकरी पुलिस कार्रवाई

BHASKAR MISHRA
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बिलासपुर— सकरी पुलिस ने बिलासपुर के चर्चित कोल माफिया दीपक सिंह को उत्तरप्रदेश के बलिया से गिरफ्तार किया है। आरोपी दीपक सिंह पर आरोप है कि अपने दो अन्य साथी मुरारी और राजू सिंह के साथ मिलकर दो अन्य पार्टनर ट्रांसपोर्टर बृजेश सिंह और के.पी पयासी को करोड़ों रूपए का फटका दिया है। शिकायत के बाद पुलिस ने दो आरोपी राजू सिंह और मुरारी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। लेकिन मुख्य सरगरना दीपक सिंह फरार होने में कामयाब रहा। लेकिन सकरी पुलिस ने कड़ी मेहनत के बाद दीपक सिंह को उसके पैतृक गांव जिला बलिया से गिरफ्तार किया है। आरोपी से इस समय सकरी पुलिस पूछताछ कर रही है।
 
          सकरी पुलिस ने पांच हजार टन कोयला गबन के मुख्य आरोपी को बलिया उत्तर प्रदेश से गिरफ्तार किया है। जानकारी देते चलें कि सकरी पुलिस  ने मामले में पहले ही दो आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। 
 
                    जानकारी देते चलें कि ट्रांसपोर्टर केपी पयासी ने मामले में सकरी थाना पहुंचकर शिकायत दर्ज कराया था। अपनी शिकायत में पयासी ने सकरी पुलिस को बताया कि मेसर्स रूंगटा माइंस लिमिटे़ ओ़ड़िशा और चायबासा झारखण्ड से उसे सितम्बर 2021 में करीब 38 हजार टन कोयला ट्रांसपोर्टिंग का आर्डर मिला। कम्पनी के अनुसार कोयला ट्रांसपोर्टिंग का काम 10 सितम्बर से शुरू कर 45 दिनों के अन्दर पूरा करना था। चूंकि काम पूरा करने के लिए फंड का होना जरूरी था। इस बात को ध्यान में रखते हुए अपने परिचित बृजेश सिंह से सम्पर्क किया। 
 
                        पुलिस को शिकायतकर्ता पयाासी ने बताया कि बजेश सिंह ने एक करोड़ लगाने का वादा किया। इसके बाद उसके माध्यम से दीपक सिंह और राजू सिंह से मुलाकात हुई। दोनों ने साथ में काम करने की इच्छा जाहिर की। 9 सितम्बर को लोखंडी स्थित दीपक सिंह के स्नेहा कोल डिपो में बजेश सिंह समेत दीपक, राजू और उनके साथी मुरारी के साथ बैठक हुई। सभी ने मिलकर करीब 38 हजार टन कोयला रानी अटारी खदान से रूगंटा माइस लिमिटेड और झारखण्ड ले जाने का फैसला हुआ। दीपक और राजू ने प्रति टन 1800 रूपए के हिसाब कोयला पहुंचाने का वादा किया। डील होने के बाद 20 सितम्बर से ट्रांसपोर्टिग का काम शुरू हुआ।
 
              अपनी शिकायत में पयासी ने पुलिस को बताया कि करीब एक करोड़ का कोयला ट्रासंपोट होनेके बाद कम्नी ने 33 लाख रूपए खाता में डाला। साथ ही ट्रांसपोर्टेशन का काम जारी रखने को कहा। करीब डेढ़ करोड़ का कोयला ट्रांसपोर्ट करने के बाद तीनों ने रूपयों के लिए घुमाना शुरू कर दिया।
 
         पयासी ने बताया कि राजू दीपक और मुरारी ने बिना बताए 23 गा़डी कोयला अटारी खदान से उठाया लेकिन रूंगटा प्लांट में डम्प नहीं किया। पूछने पर तीनों ने बताया कि रायगढ़ सीमा पर गाड़ी को रोका गया। पास नहीं होने के कारण माइनिंग वाले गाड़ी नहीं छोड़ रहे हैं। इस बीच तीनों ने बिना बताए गुपचुप तरीके से पांच हजार टन कोयला का परिवहन भी किया। परिवहन किए गए कोयला की कीमत करीब चार करोड़ रूपए से अधिक है।
 
                 पयासी ने बताया कि इसी बीच उन्हें जानकारी मिली कि मुरारी राजू सिंह और दीपक ने रानी अटारी से कोयला निकालकर रूंगटा ओ़़डिशा और झारखण्ड में डम्प करने की वजाया सारा कोयला लोखंडी स्थित स्नेहा कोल डिपो में डम्प कराया। और बेच भी दिया है।
  
                         ट्रांसपोर्टर पयासी की शिकायत को गंभीरता से लेते हुए सकरी पुलिस ने राजू सिंह, मुरारी सोनी और दीपक सिंह पर आईपीसी की धारा 120 बी, 407 और 409 का अपराध दर्ज किया। दो आरोपियों को गिरफ्तार जेल दाखिल कराया। फरार आरोपी दीपक सिंह को पुलिस लगातार तलाश रही थी। सूत्रों की सूचना पर सकरी पुलिस ने दीपक सिंह को बलिया से गिरफ्तार किया है।फिलहाल मुख्य सरगना कोयला माफिया दीपक सिंह से पुलिस गहन पूछताछ कर रही है। 
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