छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने सहायक शिक्षक भर्ती के लिए तय किए गए व्यावसायिक परीक्षा मंडल के नियमों को सही बताते हुए इसके खिलाफ दायर अभ्यर्थियों की याचिकाओं को खारिज कर दी है।हाईकोर्ट में नमिता दीवान और कई अन्य ने याचिका दायर कर कहा था कि वे व्यापमं के माध्यम से आयोजित सहायक शिक्षक भर्ती परीक्षा में शामिल हुए थे। शासन ने इसमें बीएड और टेट उत्तीर्ण होने के साथ 12वीं तथा स्नातक में 50 प्रतिशत न्यूनतम अंक की पात्रता तय की थी। याचिकाकर्ताओं ने कहा कि था कि हमारा 12वीं तथा स्नातक में अंक 50 प्रतिशत से कम है किंतु व्यापमं की परीक्षा मेरिट में पास की है। इसलिए शासन को 50 प्रतिशत अंक की बाध्यता को शिथिल कर उनका चयन करना चाहिए।
जस्टिस एन के व्यास की बेंच ने फैसला देते हुए कहा कि शासन ने गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए ही न्यूनतम अंक का नियम बनाया है, जिसे चुनौती नहीं दी जा सकती। संविधान के अनुच्छेद 309 के तहत ये नियम बंधनकारी हैं। कोर्ट ने याचिकाएं खारिज कर दी।