कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव में नामांकन की तैयारियां चल रही हैं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 28 सितंबर को नामांकन कर सकते हैं। उनके प्रदेश अध्यक्ष पद के लिए दावेदारी पेश करने की घोषणा के बाद से राजस्थान के नए मुख्यमंत्री को लेकर चर्चा हो रही है। कांग्रेस पार्टी में जयपुर से लेकर दिल्ली तक सियासी सरगर्मी बढ़ गई है।
वहीं, अब अशोक गहलोत और सचिन पायलट गुट के विधायकों ने भी एक दूसरे के समर्थन में बयानबाजी शुरू कर दी है। शनिवार को प्रदेश सरकार में ग्रामीण विकास राज्य मंत्री राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने सचिन पायलट को मुख्यमंत्री के लिए सबसे बेहतर चेहरा बताया। उन्होंने कहा, अशोक गहलोत का कांग्रेस अध्यक्ष बनना लगभग तय हो गया है। उनके बाद सीएम पद के लिए कांग्रेस में पायलट से बेहतर कोई चेहरा नहीं हो सकता। पायलट युवा नेता है, वह अपने अंदाज में राजनीति करते हैं। मुझे लगता है कि वह नवरात्रि में सीएम बन जाएंगे।
सरकार रिपीट होगी
मंत्री गुढ़ा ने कहा, राजस्थान के नए मुख्यमंत्री पर अब आलाकमान को फैसला करना है। जो भी होगा उसे सभी कांग्रेसी और हम बसपा से आए छह विधायकों के साथ पार्टी को समर्थन देने वाले सभी सहयोगी उसके साथ रहेंगे। इस बार कांग्रेस सरकार ने अच्छा काम किया है। चुनाव में सचिन पायलट के चेहरे का भी फर्क पड़ेगा। 2023 में शानदार तरीके से कांग्रेस की सरकार रिपीट करेंगे।
मैं गहलोत के साथ खड़ा हूं
इधर, स्वास्थ्य मंत्री परसादीलाल मीणा ने सीएम अशोक गहलोत के समर्थन का दावा किया है। उन्होंने कहा कि मैं गहलोत के साथ हूं। उनके साथ तीन बार मंत्री रह चुका हूं। हम पार्टी आलाकमान के फैसले के साथ खड़े हैं। आलाकमान जो फैसला करेगा, वह सभी को मान्य होगा।
विधायक सोलंकी ने दी थी सलाह
इससे पहले सचिन पायलट गुट के विधायक वेदप्रकाश सोलंकी ने एक ट्वीट किया था। उन्होंने कहा था, सभी साथियों से निवेदन है कि धैर्य और संयम बनाएं। सच्चाई की जीत होगी और हमारे नेता सचिन पायलट को उनकी मेहनत का फल जरूर मिलेगा, हमें आलाकमान पर पूरा भरोसा है। इसलिए कोई भी साथी सोशल मीडिया पर कुछ भी अनावश्यक पोस्ट और कमेंट न करें।
छोड़ना पड़ेगा सीएम पद
अशोक गहलोत के मौजूदा रुख को देखते हुए कहा जा रहा है कि राजस्थान कैबिनेट में भी फेरबदल हो सकता है। गहलोत पार्टी अध्यक्ष बने तो उन्हें सीएम पद छोड़ना होगा। राहुल गुरुवार को साफ कर चुके हैं कि एक व्यक्ति एक पद का नियम सख्ती से लागू किया जाएगा। ऐसे में चर्चाएं ऐसी हैं कि सचिन पायलट को राजस्थान का मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है। यानी अगला चुनाव पायलट के नेतृत्व में ही लड़ा जाएगा। वहीं, गहलोत कोशिश में होंगे कि उनके विश्वस्त और विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी को मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बिठाया जाए।