गांधी जी के दो हथियार..सत्य अहिंसा से कराया देश को आजाद..न्यायधीश ने कहा..आजादी के 75 साल बाद भी हो रहा अधिकार का हनन..

BHASKAR MISHRA
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रामानुजगंज (पृथ्वीलाल केशरी)–जिला न्यायधीश एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष सिराजुद्दीन कुरैशी की अध्यक्षता में विश्व मानवाधिकर पर दिवस पर विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिला जेल रामानुजगंज में आयोजित विधिक साक्षरता शिविर में सैकड़ों लोगों ने शिरकत किया।
 
                     सिराजुद्दीन कुरैशी ने विचाराधीन कैदियों को संबोधित किया। कुरैशी ने कहा कि जो अधिकार मानव को जन्मजात प्राप्त है उसे मानवाधिकार कहा जाता है। सभी को स्वतंत्रता, समानता एवं प्रतिष्ठा से जुड़े सभी प्रकार के सम्मान हासिल होना चाहिए। अधिकारों का उलंघन करने वालों को अदालत से मिलती है। 
 
         मानवाधिकार में स्वास्थ्य, आर्थिक,सामाजिक और शिक्षा का अधिकार शामिल है। मानवाधिकार वह अधिकार है जिनसे मनुष्य को नस्ल,जाति,राष्ट्रीयता, धर्म, लिंग आदि के आधार से वंचित या प्रताड़ित नहीं किया जा सकता। लेकिन विडंबना है कि आजादी के 75 वर्ष बाद भी हर दिन मानवाधिकार का लगातार हनन हो रहा है। आज समृद्ध लोग गरीब लोगों के अधिकारों को रौंद रहे है। यह सब इसलिए हो रहा है क्योंकि हमारे अंदर पूर्ण जानकारी की कमी है। हम अपने अधिकारों से परिचित नहीं हैं।
 
                     कुरैशी ने बताया कि हमें अपने अधिकारों को जानना होगा। गांधी जी के सत्य और अहिंसा का जिक्र करते हुए कहा कि राष्ट्रपिता ने दोनो हथियारों की बदौलत अंग्रेजी साम्राज्य को समाप्त किया। इस दौरान कुरैशी ने बंदियों के लिए लाईब्रेरी और धार्मिक,साहित्यिक किताबें उपलब्ध कराने हेतु जेल अधीक्षक को निर्देश दिए।
 
             द्वितीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश मधुसूदन चंद्रकार ने भी अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर जेल अधीक्षक जीएस मरकाम, तहसीलदार विनीत  सिंह,पूर्व लोक अभियोजक बिपिन बिहारी सिंह, लोक अभियोजक अविनाश गुप्ता,लीगल एंड क्लीनिक अधिवक्ता अवधेश गुप्ता,पैनल अधिवक्ता राकेश पाण्डेय,जिला जेल के समस्त स्टॉफ एवं पीएलव्ही उपस्थित थे।
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