VIDEOः कैमरे में कैद NTPC की गैर जिम्मेदार हरकत..3 सौ कर्मचारियों की जिन्दगी को जोखिम में डाला.मालगाड़ी को बनाया यात्री गाड़ी..अब लीपा पोती का हो रहा प्रयास

BHASKAR MISHRA
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एनटीपीसी ने मालगाडी को ‘सवारी’ ट्रेन बनाया और 300 लोगो को बैठाकर 80 किमी सफर कराया प्रबंधन की भारी लापरवाही 

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बिलासपुर (रियाज़ अशरफी)—नई पीढ़ी को…खासकर इस वीडियो को ध्यान से देखना चाहिए। वीडियो से उनके जनरल नालेज में इजाफा ही होगा। उन्हें इसे देखने से कोई नुकसान भी नहीं है। नुकसान की कोई संभावना बनती भी है तो वीडियो में दिखाई दे रहे मालगाड़ी से यात्रा कर रहे कर्मचारियों को। समाचार पढ़ने और वीडियो देखने वालों को एनटीपीसी प्रबंधन को धन्यवाद देना चाहिए। पचास साल पहले रेल से यात्री परिवहन की व्यवस्था कुछ ऐसी ही थी। उन्हें खासकर बहुत खुश होना चाहिए..जिनकी रूचि जान को जोखिम में डालने की हो। क्योंकि उन्हें अब दूर नहीं.. बल्कि चन्द कदम दूर सिर्फ एनटीपीसी प्रबंधन की सहमति से खुली मालगाड़ी में यात्रा कर अपनी जान जोखिम में डालने का अवसर मिल सकता है। यदि दुर्घटना होती भी है तो उनकी बला से।

प्रबंधन ने 300 मजदूरों की जिन्दगी से किया खिलवाड़

आप जो विडीयो देख रहे हैं..दरअसल विभिन्न खदानो से कोयला लादकर एनटीपीसी लाने वाली मालगाड़ी की है। इत्तेफाक से वीडियों को देखने के बाद लोगों की जानकारी मिली कि मालगाड़ी से कर्मचारियों का परिवहन भी किया जाता है। इसे एनटीपीसी की लापरवाही कहें या जुगाड़…। आप कुछ भी कहें..लेकिन इस वीडियो को जमकर पसंद किया जा रहा है।

दरअसल इस वीडियों से हमेशा सुर्खियों में रहने वाले एनटीपीसी सीपत प्रबंधन की लापरवाही बेनकाब हो रही है। विश्वकर्मा जयंती के दिन कोरबा स्थित दीपका खदान साइड से 300 से अधिक श्रमिकों को मालगाड़ी के खुले दो वैगन और इंजिन में बैठाकर सीपत एनटीपीसी लाया गया। श्रमिकों 80 किमी की यात्रा जान जोखिम में डालकर किया।

मजदूरों का किया गया आयात

      जानकारी देते चलें कि शुक्रवार 17 सितंबर को विश्वकर्मा जयंती कार्यक्रम का आयोजन सीपत स्थित एनटीपीसी में इंजीनियरिंग विभाग ने किया। कार्यक्रम में ठेका कंपनी में काम करने वाले श्रमिकों को भी आमंत्रित किया गया। एनटीपीसी प्रबंधन के आयोजन में ठेकेदारों के सुपरवाइजर और मजदूर को भी शामिल होने का मौका मिला।

आशीर्वाद लेकर लौटे मजदूर

कार्यक्रम में शामिल होने कोरबा स्थित दीपका कोल साइडिंग से लगभग 300 से अधिक मजदूरों की भीड़ को सीपत लाने के लिए रेल पटरी और रेल रिपेयरिंग इंजीनियरिंग विभाग के खुली दो बैगन वाली मालगाड़ी को दीपका भेजा गया। श्रमिकों को एनटीपीसी की निजी रेल लाइन से तकरीबन 40 किमी तक मालगाड़ी के खुले वैगन से लाया गया। बहुत श्रमिक तो मालगाडी के इंजिन में लटकाकर आए। यात्रा के दौरान श्रमिकों की जान खतरे में थी। लेकिन एनटीपीसी को क्या फर्क पड़ना था। फर्क तो मजदूरों के परिवार को पड़ना था। लेकिन भगवान विश्वकर्मा एनटीपीसी पर मेहरबान थे..शुक्र है कि कोई बड़ा हादसा नही हुआ।

रात के अंधेरे में मालगाड़ी से लौटे मजदूर

कार्यक्रम खत्म होने के बाद लगभग 7:30 बजे एनटीपीसी प्रबंधन ने सभी 300 मजदूरों को रात के अंधेरे में ही मालगाड़ी के खुले डिब्बे में लादकर 80 किलोमीटर दूर स्थित दीपका के लिए रवाना किया। यात्रा अनन्त काल की भी हो सकती थी। लेकिन भगवान विश्वकर्मा के आशीर्वाद से 80 किमी के बाद ही खत्म हो गयी। सभी मजदूरों ने रात के अन्धेरे में दो घण्टे तक एडवेन्चर का आनन्द लिया। आप भी वीडियो देखकर आनन्द ले सकते हैं। लेकिन मामले में अब सीपत प्रबंधन चुप है। जानकारी मिल रही है कि अब लीपा पोती का भी खेल शुरू हो गया है।

हमेशा की तरह अधिकारी अंजान

जैसा की हमेशा होता है…जानकारी मिलने के बाद प्रबंधन के गैर जिम्मेदार अधिकारी जानकारी नहीं होने की बात कहते हैं। मतलब यहां भी एनटीपीसी सीपत के जनसंपर्क अधिकारी प्रवीण रंजन भारती ने मामले से अंजान होना बताया। उन्होंने कहा कि मामले की जानकारी के लिए एमजीआर विभाग से बात करेंगे। इसके बाद ही कुछ बोलने की स्थिति बनेगी।

सीजी वाल के लिए सीपत से रियाज अशरफी की रिपोर्ट

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