अमृतसर।लोकसभा चुनाव 2019 को लेकर भारतीय जनता पार्टी अलग-अलग राज्यों में अपने सहयोगी पार्टियों के साथ गठबंधन और सीटों के बंटवारा को अमलीजामा पहना रही है. बिहार , महाराष्ट्र, तमिलनाडु के बाद आज यानी कि गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी ने पंजाब की अपनी सहयोगी पार्टी अकाली दल के साथ गठबंधन और सीटों के बंटवारा का आधिकारिक ऐलान कर दिया. भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह ने अपने आधिकारिक ट्विटर अकाउंट पर इस बात की जानकारी दी है. पंजाब में एनडीए घटक दल बीजेपी और अकाली दल 2014 लोकसभा चुनाव की तरह ही सियासी मैदान में उतरेगी. पंजाब की कुल 13 लोकसभा सीटों में 10 सीट पर अकाली दल जबकि तीन सीट पर भाजपा अपना प्रत्याशी उतारेगी.cgwall.com के whatsapp ग्रुप से जुडने के लिए यहाँ क्लिक करे
भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने गठबंधन का ऐलान करते हुए लिखा कि आज अकाली दल के अध्यक्ष श्री सुखबीर सिंह बादल जी के साथ अकाली दल और भाजपा पंजाब इकाई के नेताओं के साथ बैठक की. अकाली-भाजपा गठबंधन, 2019 लोकसभा चुनाव साथ में लडेगा. दोनों पार्टियों की सीटें और संख्या 2014 लोकसभा की तरह यथावत रहेंगी, अकाली दल 10 सीटों पर और भाजपा 3 सीटों पर लड़ेगी.
बता दें कि 2014 लोकसभा चुनाव में पंजाब में एनडीए घटक दलों का सियासी समीकरण यही था.
आज अकाली दल के अध्यक्ष श्री सुखबीर सिंह बादल जी के साथ अकाली दल और भाजपा पंजाब इकाई के नेताओं के साथ बैठक की।
अकाली-भाजपा गठबंधन, 2019 लोकसभा चुनाव साथ में लडेगा। दोनों पार्टियों की सीटें और संख्या 2014 लोकसभा की तरह यथावत रहेंगी, अकाली दल 10 सीटों पर और भाजपा 3 सीटों पर लड़ेगी। pic.twitter.com/syCups5Gt1
— Amit Shah (@AmitShah) February 28, 2019
2014 के आम चुनाव में शिरोमणि अकाली दल ने चार सीट पर जीत दर्ज की थी. जबकि बीजेपी दो सीट पर जीतने में सफल हुई थी. कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने चार-चार सीटों पर कब्जा जमाया था. हालांकि पिछले चुनाव में राज्य में अकाली दल सत्ता में थी और पार्टी के खिलाफ विरोधी लहर का खामियाजा बीजेपी को भी उठाना पड़ा था. जहां पूरे देश में मोदी लहर थी, वहां पंजाब में भाजपा को अपेक्षित जीत नहीं मिली थी.
अब देखना है कि लोकसभा चुनाव 2019 में भाजपा और अकाली दल कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के खिलाफ कितनी मजबूत दावेदारी पेश करती है. बताते चले कि पंजाब में इस समय कैप्टन अमरिंदर सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार है. विधानसभा चुनाव में मिली जीत के बाद से राज्य के कांग्रेस कार्यकर्ता भी जोश में है. जानकारों को कहना है कि राज्य में इस बार कांग्रेस, भाजपा-अकाली दल गठबंधन और आम आदमी पार्टी के बीच त्रिकोणीय मुकाबला हो सकती है.