17 तक नवीन पदस्थाना पर जाएं अधिकारी..पाण्डेय

BHASKAR MISHRA
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prem prakash pरायपुर—स्थानांतरण के बाद भी कई विभाग के अधिकारी और कर्मचारी नवीन पदस्थापना में जाने से कतरा रहे हैं। राजस्व विभाग में ज्यादातर जिलों में तबादले के बावजूद अधिकारियों-कर्मचारियों को रिलीव नहीं किया गया है। रजस्व मंत्री प्रेम प्रकाश पांडेय ने नाराजगी जाहिर की है।

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                     मंत्री ने गुरुवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग में सभी कलेय्टरों को तहसीलदार-नायब तहसीलदारों को 17 अगस्त तक भार मुक्त करने का आदेश दिया है। तबादले के बाद पसंदीदा पोस्टिंग नहीं मिलने पर ’ज्यादातर विभागों के कई अधिकारी-कर्मचारी अभी तक रिलीव नहीं हुए हैं। तबादला रूकवाने की जोड़-तोड़ में लगे है। कुछ प्रस्ताव समन्वय समिति में भी भेजे गए हैं।

                 बताया जा रहा है कि मुख्य सचिव विवेक ढांड ने सभी विभाग प्रमुखों को तबादला आदेश का पालन सुनिश्चित करने को कहा है। जिलों में अलग-अलग कारणों से कई अधिकारी- कर्मचारियों को रिलीव नहीं किया गया है। राजस्व विभाग में तबादला आदेश के बावजूद अधिकारी- कर्मचारियों को रिलीव नहीं करने पर राजस्व मंत्री पांडेय ने विभागीय अधिकारियों की बैठक में नाराजगी जाहिर की है।

                 वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए रूबरू होते हुए मंत्री ने सभी कलेक्टरों से स्थानांतरण को लेकर चर्चा की। कुछ कलेक्टरों ने बताया कि स्वतन्त्रता दिवस  कार्यक्रम के चलते अधिकारी-कर्मचारियों को रिलीव नहीं किया गया है। राजस्व मंत्री ने दो-टूक शब्दों में कहा कि जिन नायब तहसीलदार-तहसीलदारों का तबादला हुआ है, उन्हें स्वतंता दिवस का कार्यक्रम निबटाने के बाद 17 तारीख तक अनिवार्य रूप से नए जिलों के लिए भार मुक्त करें।

                 सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसा बाकी अन्य श्रेणी के अधिकारी-कर्मचारियों के तबादले के लिए भी नए निर्देश जारी किए जा रहे हैं। इन कर्मचारियों को 20 तारीख तक अनिवार्य रूप से नए जिलों के लिए भार मुक्त करने के आदेश दिए गए हैं। बताया जा रहा है कि तबादला नीति में अनुसूचित क्षेत्रों के लिए अलग प्रावधान किए गए हैं।  प्रावधान में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि अधिकारी-कर्मचारियों के तबादले के बाद उनकी जगह आने वाले कर्मचारियों के चार्ज लेने के बाद ही उहें रिलीव किया जाए। यही वजह है कि अनुसूचित क्षेत्रों में तबादला आदेश का पूरी तरह पालन नहीं हो पाया है। अलग-अलग स्तरों पर आ रही शिकायतों के बाद अब कड़ाई से पालन करने के लिए विभागों से दिशा निर्देश जारी किए जा रहे हैं।

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