जगदलपुर/बीजापुर-लगातार बारिश से बस्तर के कई जिलों में नदी-नालों में ऊफान हैं। सुकमा और बीजापुर में हालात बिगड़ रहे हैं। इंद्रावती नदी का जल स्तर जहां इस साल पहली बार खतरे के निशान से उपर पहुंच चुका है। इधर, बाढ़ की वजह से बीजापुर से जगदलपुर राष्ट्रीय राजमार्ग गुरूवार से बंद कर दिया गया है।मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार दक्षिण बस्तर में बहने वाली शबरी, डंकनी, शंकनी, मिंगाचल, चिंतावागु, नारंगी समेत हाथीनाला, गोरियाबहार नाला, आमाबाल आदि नदी, नाले उफान पर हैं। यहां नेशनल हाईवे 30 पर लोगों को पार कराने प्रशासन को नाव भी चलानी पड़ी। केंद्रीय जल आयोग के मुताबिक गुरूवार की शाम 5 बजे तक इंद्रावती नदी के पुराने पुल गेज साइट में जलस्तर 8.62 दर्ज किया गया जो डेंजर लेवल से 3 सेमी अधिक है।CGWALL न्यूज़ के व्हाट्सएप ग्रुप से जुडने के लिए यहाँ क्लिक कीजिये
सीडब्ल्यूसी के मुताबिक आज सुबह 9 बजे ही इंद्रावती नदी वार्निंग लेवल को क्रास कर गई थी। यहां बताना आवश्यक है कि वार्निंग लेवल 7 मीटर है, जबकि इंद्रावती नदी के बैकवाटर से गोरियाबहार नाला भी उफान पर है। आज सुबह 8 बजे गणपति रिसार्ट के समीप बने पुल के उपर बाढ़ का पानी चढ़ गया था जबकि शाम तक बाढ़ का पानी गणपति रिसार्ट के मुख्य प्रवेश द्वार तक पहुंच गया था।
इंद्रावती नदी में जलस्तर बढ़ने से भारत नियाग्रा के नाम से चर्चित चित्रकोट जलप्रपात भी अपने पूरे शबाब पर है और घोड़े की नाल के आकार से पूरब से पश्चिम तक 90 फीट की गहराई तक पूरे गर्जना के साथ पानी नीचे समा रहा है। बाढ़ग्रस्त इलाकों में तटीय क्षेत्र के लोगों की सुरक्षा के लिए जिला प्रशासन कलेक्टर रजत बंसल और पुलिस अधीक्षक दीपक झा ने दौरा किया। साथ ही एसडीआरएफ की रेस्क्यू टीम, राजस्व अमला और पंचायत प्रतिनिधियों को लगातार सर्तकता और सावधानी बरतने के निर्देश दिए हैं। खासकर बाढ़ प्रभावित इलाकों में लोगों को सुरक्षित लाने मुनादी कराई जा रही है।